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दिगम्बर जैन साधु प्रायिका श्रेयांसमतीजी ।
श्री १०५ आयिका श्रेयांसमतीजी का गृहस्थ अवस्था का नाम शिवदेवी था । आपका जन्म राजसुन्नार गुड़ी में हुआ । आपके पिता का नाम श्री वर्धमान मुदालिया एवं माता का नाम श्रीमती . गुणमती था । आप मुदालिया जाति की भूषण हैं । आपकी धार्मिक एवं लौकिक शिक्षा साधारण ही रही । आपका विवाह भी हुआ । जिससे आपको दो पुत्ररत्न की प्राप्ति हुई । ३८ वर्ष की अवस्था में आपके पति का देहान्त हो गया।
शास्त्र पढ़ने से आप में वैराग्य वृत्ति जागृत हुई इसलिये आपने सन् १९५८ में श्री १०८ आचार्य महावीरकीर्तिजी महाराज से नागौर में आर्यिका दीक्षा ले ली। आपकी वर्तमान में आयु ६४ वर्ष की है । आपने नागौर, अजमेर, पावागढ़, बड़वानी, गजपन्था, कुन्थलगिरि आदि जगहों पर चातुर्मास किये । आपने लोगों को धर्म ज्ञान की बातें सिखाई।
मापिका वीरमती माताजी
उत्तरप्रान्त में गाजियाबाद के पास लोनी में आपने सेठ बसन्तीलालजी के यहां जन्म लिया। आपका पूर्व नाम जव्वूवाई था । आपकी इस समय उम्र ७५ वर्ष की हो रही है । आपने आचार्य महावीरकीर्तिजी महाराज से दीक्षा ली । आप समाधि की साधना कर रही हैं ।