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उत्साही और सच्ची लगन के व्यक्ति
श्री लालचंदजी सेठी मालिक विनोद मिल्स, उज्जैन
श्री तनसुखराय स्मृति-प्रथ के सम्बन्ध में ___ माननीय सेठीजी जैन समाज के समाजपत्र आपका मिला। यह जानकर बड़ी प्रसन्नता सुधारक, गणमान्य नेता थे। खेद है कि हुई कि पाप समाज-सेवी लाला तनसुखराय जैन उनका स्वर्गवास हो गया। उन्होने अस्वस्थ की स्मृति मे, एक स्मृति-प्रथ प्रकाशित कर रहे | अवस्था में ही लालाजी के सम्बन्ध में चार है और इस कार्य मे आप सक्रिय भाग ले रहे | पक्तिया लिखकर भिजवा दी। हम पाशा है। वास्तव मे लाला तनसुखरायजी एक बडे | लगाये थे क्योकि उन्होने लिखा था तवियत ही उत्साही और सच्ची लगन के व्यक्ति थे। ठीक होते ही लिखकर आपके पास भिजवा मेरा उनसे अच्छा परिचय रहा है। दूगा। परन्तु खेद है ऐसे नेता का असमय
मे ही वियोग हो गया । हम जिनेन्द्रदेव, से मै कोई खास सम्बन्धित विषय लेकर प्रार्थना करते है कि स्वर्गीय महान् भात्मा तो कुछ लिख नहीं सकता, किन्तु मेरा जो को शाति प्राप्त हो और कुटुम्वियो को इस व्यक्तिगत सम्बन्ध उनसे रहा है उस सम्बन्ध मे | सकट के समय मे धैर्य धारण करने की अवश्य ही कुछ लिखकर भेज सकता है। शक्ति प्राप्त हो।
एक मास से मेरा स्वास्थ्य अच्छा न होने से मै डाक्टरो के मशवरे के अनुसार विश्राम ले रहा हूँ, सो तबियत ठीक होते ही लिखकर मानके पास भिजवा दूंगा।
मैं आपके इस कार्य मे पूर्ण सफलता चाहता है।
दीपक के समान प्रकाशमय
श्री महावीर प्रसाद, एडवोकेट
हिसार भाई साहब कुटुम्ब और समाज के प्रति कितना काम करते थे। कितने उनके सरल परिणाम थे । समाज-उद्धार की उनकी बडी लगन एक दीपक के समान थी। उनका मन सदा सेवा के लिए तडपता रहता था। कभी देश-सेवा तो कभी समाज-सेवा । सच पूछो तो उनका जीवन सेवा के लिए निर्माण किया गया था। वे हमारे परिवार में एक प्रकाशमान ज्योति थे।
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