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2.2.8.विषाद ग्रस्तता 2.2.9.स्वाभिमान का नाश
2.2.10. बुद्धि का नाश 2.3 नैतिक एवं चारित्रिक हानियां
2.3.1.व्रत भंग 2.3.2.हिंसा 2.3.3.असत्य 2.3.4.विषयासक्ति (चोरी की प्रेरक) 2.3.5.परिग्रह
2.3.6.निर्दयता 2.4 व्यावहारिक हानियां
2.4.1.आज्ञा की हानि 2.4.2.निंदा व तिरस्कार की प्राप्ति 2.4.3.कलह 2.4.4.वैर की वृद्धि 2.4.5.अशुभ संस्कारों की प्रगाढ़ता 2.4.6.विघ्न बहुलता 2.4.7.महान अनर्थ 2.4.8.संबंधों की उपेक्षा 2.4.9.सद्गुणों का नाश 2.4.10 जिम्मेदार पद के अयोग्य
2.4.11 अभ्याख्यान 2.5 भावात्मक हानियां
2.5.1.क्रोध 2.5.2.अहंकार की वृद्धि 2.5.3.अविनय की वृद्धि 2.5.4.माया 2.5.5.अतृप्ति 2.5.6.भय कारक 2.5.7.अविवेक जनक 2.5.8.अशुभ लेश्याओं का परिणमन