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फिरोजाबादमें विविध समारोह
२३७ आपने स्वीकृत किया कि समय बड़ा खराब है। सरकार नवीन है। यदि जनताने पूर्ण सहयोग दिया तो देशकी परिस्थितिको हमारी सरकार संभाल लेगी। अभिनन्दन ग्रन्थके तैयार करने तथा इस विशालरूपमे उत्सव सम्पन्न करानेमें श्री प. पन्नालाल जी साहित्याचार्य और पं० खुशालचन्द्र जी साहित्याचार्यको बड़ा श्रम करना पड़ा है। यहां का उत्सव सानन्द सम्पन्न हुआ। श्री लाला छदामीलालजीने स्याद्वाद विद्यालयके घाटका जीर्णोद्धार कराने के लिए १००००) दश हजार का दान घोषित किया।
फाल्गुन कृष्ण १ सं० २००७ को आपके यहां हमारा आहार हुआ। आप ३ भाई हैं। आपने अपने मझले भाईका बालक गोद लिया है। आपने २० लाखका दान किया है। एक दो लाखसे ऊपर, मन्दिर बनानेका भी विचार है, जिसकी नीव गिर चुकी है। आप सुशील हैं। जो वादा करते हैं उसे पूर्ण करते हैं। आपने जो मेला भराया उसमें बहुत उदारतासे काम लिया। ७५ व्रती महानुभावों का प्रतिदिन भोजन होता था । ६० कैलाशचन्द्र जी. पं० फूलचन्द्र जी, पं० पन्नालाल जी, पं० खुशालचन्द्र जी, राजकृष्ण जी महेन्द्रकुमार जी आदि अनेक विद्वान् इस मेलामे आये थे। श्रीमन्त वर्ग भी पुष्कल था। मेलाका प्रवन्ध पं० राजेन्द्र कुमारजी द्वारा बहुत उत्तम रीतिसे हुआ। किसीको कोई कष्ट नहीं होने दिया।
द्वितीयाके दिन श्री पं० माणिकचन्द्र जी न्यायाचार्यके घर भोजन किया । तदनन्तर श्री नसियाजीके मन्दिरमे आये। थोड़ी देर आरामकर सामायिक किया। तत्पश्चात् १ बजे शिकोहाबादके लिए प्रस्थान किया। प्रस्थानके पूर्व श्री आचार्य महाराजके पास गया तो उन्होने आशीर्वाद देते हुये कहा कि तेरा अवश्य कल्याण होगा, तू भोला है तुझसे प्रत्येक मनुष्य अनुचित लाभ उठाना