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________________ भगवई सुत्त एएसि णं भंते! बेइंदियाणं जाव पंचिंदियाण य कयरे कयरेहिंतो अप्पा वा जाव विसेसाहिया वा? गोयमा! सव्वत्थोवा पंचिंदिया, चउरिदिया विसेसाहिया, तेइंदिया विसेसाहिया, बेइंदिया विसेसाहिया || सेवं भंते ! सेवं भंते ! ॥ || पढमो उद्देसो समत्ता || वीसइमं सतं बीओ उद्देसो कइविहे णं भंते ! आगासे पण्णत्ते ? गोयमा ! दुविहे आगासे पण्णत्ते, तं जहा- लोगागासे य अलोगागासे य । लोगागासे णं भंते ! किं जीवा, जीवदेसा, पुच्छा ? गोयमा ! जहा बिइयसए अत्थिउद्देसे तह चेव इह वि आलावगो भाणियव्वं । जावधम्मत्थिकाए णं भंते ! केमहालए पण्णत्ते ? गोयमा ! लोए लोयमेत्ते लोयप्पमाणे लोयफुडे लोयं चेव ओगाहित्ता णं चिट्ठइ । एवं जाव पोग्गलत्थिकाए । अहेलोए णं भंते ! धम्मत्थिकायस्स केवइयं ओगाढे ? गोयमा ! साइरेगं अद्धं ओगाढे | एवं एएणं अभिलावेणं जहा बिइयसए जाव ईसिपब्भारा णं भंते ! पुढवी लोगागासस्स किं संखेज्जइभाग ओगाढा, पुच्छा ? गोयमा! णो संखेज्जइभागं ओगाढा, असंखेज्जइभागं ओगाढा, णो संखेज्जेभागे ओगाढा, णो असंखेज्जे भागे ओगाढा, णो सव्वलोयं ओगाढा | सेसं तं चेव । धम्मत्थिकायस्स णं भंते ! केवइया अभिवयणा पण्णत्ता ? गोयमा ! अणेगा अभिवयणा पण्णत्ता, तं जहा- धम्मे इ वा धम्मत्थिकाये इ वा पाणाइवायवेरमणे इ वा मुसावायरवेरमणे इ वा एवं जाव परिग्गहवेरमणे इ वा, कोहविवेगे इ वा जाव मिच्छादंसणसल्लविवेगे इ वा, इरियासमिई इ वा, भासासमिई इ वा, एसणासमिई इ वा, आयाणभंडमत्तणिक्खेवणासमिई इ वा, उच्चार-पासवण-खेल-जल्लसिंघाण-पारिट्ठावणिया-समिई इ वा, मणगुत्ती इ वा, वइगुत्ती इ वा, कायगुत्ती इ वा, जेयावण्णे तहप्पगारा सव्वे ते धम्मत्थिकायस्स अभिवयणा | अधम्मत्थिकायस्स णं भंते ! केवइया अभिवयणा पण्णत्ता ? गोयमा ! अणेगा अभिवयणा पण्णत्ता, तं जहा- अधम्मे इ वा, अधम्मत्थिकाए इ वा, पाणाइवाए इ वा जाव मिच्छादसणसल्ले इ वा, इरियाअसमिई इ वा जाव उच्चारपासवणखेल- जल्ल- सिंघाण- पारिट्ठावणिया-असमिई इ वा, मणअगुत्ती इ वा, वइअगुत्ती इ वा, कायअगत्ती इ वा, जे यावण्णे तहप्पगारा सव्वे ते अधम्मत्थिकायस्स अभिवयणा | आगासत्थिकायस्स णं, पुच्छा ? ६ 473
SR No.009905
Book TitleAgam 05 Ang 05 Bhagvati Vyakhya Prajnapti Sutra Mool Sthanakvasi
Original Sutra AuthorSudharmaswami
AuthorDevardhigani Kshamashaman
PublisherGlobal Jain Agam Mission
Publication Year2012
Total Pages653
LanguagePrakrit
ClassificationBook_Devnagari, Agam, Canon, & agam_bhagwati
File Size8 MB
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