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श्री ममल पाहुड
जी
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जय अर्कै अर्के अर्क जिनुत्तु, अर्क जिनु कमल मौ रे जय सुर्के सुर्के सुर्क जिनुत्तु, सुर्क जिनु
कमल मौ रे
जै
सुइ कमले कमले कमल जिनुत्तु, कमल उव कमल जय कमले कमले कलन जिनुत्तु, कलन उव कमल जै
रे
जय व्रिते न्रिते नितु जिनुत्तु, न्रित जय कमल जै रे । जयषि षिपने पिन जिनुत्तु, षिपन जय कमल जै रे ।। १४ ।। ॥ जय रंजे. ॥
रे
॥
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जय मुक्ते मुक्ते मुक्ति जिनुत्तु, मुक्ति मौ कमल पौ रे जय सुष्ये सुष्ये सुष्य अनंतु, सुष्य जै कमल जै रे
॥
जय हंसे हंसे उवन हंसेइ, हुवन पौ हिय अवयासे यासे उवन रमंतु, उवन जिनु कमल
मौ रे
॥
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१३ ।।
जय रंजे. ॥
॥
॥
१५ ॥
जय रंजे. ॥
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जय उवन कमल ध्रुव नंतु, कर्न उव सुव समै जय कर्ने उवने सुवन संमत्तु, सुवन सुइ सुइ उवै रे
।।
।। १६ ।
जय रंजे. ॥
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१७ ।।
जय रंजे. ॥
रमै रे । मौ रे ।।
१८ ॥ ॥ जय रंजे. ॥
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दिपि दिप्तिं दिप्तिं दिप्ति दिपाई, सुयं दिस्टि रलि रमै रे सुइ सब्दे सब्दे सुवन समाई, सुवन सुइ उवन जै रे ।। १९ ।।
॥ जय रंजे. ॥
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श्री तारण तरण अध्यात्मवाणी जी
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सुइ सुवने सुवने कलन कलाई, चरन चरु जिनु चरै रे जय चरने कलने कलन अनंतु, कलि कमल जिन ध्रुव रमै रे
॥
२० ॥
॥ जय रंजे ॥
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सुइ दिप्तिं दिप्तिं दिप्ति सुइ दिप्ति, दिप्ति सुइ दिप्ति मौ रे जय अभये अभये अभय जिनुत्तु, अभय सुइ कमल पौ रे ॥
२१ ॥
॥ जय रंजे. ॥
जय सुर्के सुर्के सुर्क सिय उत्तु, सुर्क जै कमल जै रे । जय अर्थे अर्थे अर्थ सर्वार्थ, सर्वार्थ जै कमल जै रे ॥ २२ ॥ ॥ जय रंजे ॥ जय विंदे विंदे विंद जिनुत्तु, विंद उव विंद जै रे । जय विंद विंद जिन उत्तु, कमल विंद धुव रमै रे ।। २३ ।।
॥ जय रंजे. ॥
जय नंद नंद जिन नंद, नंद आनंद जै जय समये समये समय जिनुत्तु, हिय रमन जै उव रमै
रे । रे ॥
जै
२४ ॥ ॥ जय रंजे. ॥
जय अलषे अलषे अलष जैवंतु, अलष जै कमल जै रे । जय अगमे अगमे अगम जैवंतु, अगम उव कमल जै रे ।। २५ ॥ ॥ जय रंजे ॥
जय सहने सहने सहयार जिनुत्तु, रमन सिय उवन जै रे । सुइ रंज रंज जिन रंजु, उवन जिनु उवन
रे ।। २६ ।।
॥ जय रंजे. ॥