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________________ बीकानेर जैन लेख संग्रह सं० 1513 वर्षे ओसवाल मं० वेला भा० सुहागदेव्या पु० मं० राजा सींघा शिवा वाघा धना सवरण ब० हीरादे सूहवदे श्रियादे वल्लादे धन्नादे लाडी पौ. सोहा हाथी यु० श्रीकुंथुनाथ बिंबं का० प्र० तपा श्रीसोमसुंदरसूरि शि० श्रीरत्नशेखरसूरि श्रीउदयनंदिसूरिभिः / / इलदेंगे (663 ) // संवत् 1513 वर्षे ऊकेश वंशे कटारिया गोत्रे सा० तेजसी पुत्र तिहुणा भार्या कील्हणदे पुत्र कुलचंदेन भार्या कुतिगदे प्रभृति पुत्र पौत्रादि परिवार युतेन श्रीनेमिनाथ बिंबं का० प्रति. श्रीखरतर गच्छे श्रीजिनभद्रसूरिभिः / / (664) सं० 1513 वर्षे ऊकेश वंशे सा० गोसल भा० मंगादे पुत्र पासाकेन भा० अपू पुत्र रत्ना काला गोपादि कुटुंब युतेन श्रीश्नेयांस जिन बिध कारितं प्रतिष्ठितं तपा गच्छेश श्रीरत्नशेखरसूरिभिः (665 संवत् 1513 वर्षे उपकेश वंशे बोथरा गोत्रे सा० नगराज भा० मदू पुत्र सा० महिराजेन स्व पुण्याथं श्रीसुमतिनाथ बिंब का० प्रतिष्ठितं खरतर गच्छे श्रीजिनसुंद (रसूरिभिः) // 60 / / सं० वर्षे वै० ब० 4 दिने ऊकेश ज्ञातीय दरड़ा शाखीय सा० कान्हड़ भार्या कपूरदे सुत सा० भावदेवेन सभा० गिजक्षिजात पुत्र भोला रणधीर प्रमुख कुटुंब सहितेन श्रीविमलनाथ बिंब कारिता प्र० खरतर गच्छे श्रीजिनभद्रसूरिभिः / / पित्रोः श्रेयोथं भोलाकेन का० (667) सं० 1513 वै० . 3 दिने प्राग्वाट व्य मेही भा० दूजी पुत्र वीटाकेन भा० हास पुत्र वरणादि कुटुंब युतेन श्रीसंभवनाथ बिंबं का० प्र० तपा गच्छे श्रीसोमसुंदरसूरि पट्टे श्रीमुनिसुदर सूरि श्रीजयचंद्रसूरि तत्प? श्रीरत्रशेखरसूरिभिः मावाल प्रामे (668) सं० 1513 वर्षे ज्येष्ठ सुदि 11 शुक्रे उप० ज्ञातीय व्य० नरपाल पु० कोका भा० कुतगदे पु० 4 मोकल भा० माणिकदे पु० देवराज युतेन आत्म श्रेयसे श्रीमुनिसुव्रत स्वामि बिवं का० प्र० बृह० श्रीन (1 उ) दयप्रभसूरिभिः "Aho Shrut Gyanam"
SR No.009684
Book TitleBikaner Jain Lekh Sangraha
Original Sutra AuthorN/A
AuthorAgarchand Nahta, Bhanvarlal Nahta
PublisherNahta Brothers Calcutta
Publication Year
Total Pages658
LanguageHindi
ClassificationBook_Devnagari & History
File Size22 MB
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