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जिंदगी इम्तिहान लेती है
१९७ निराशा भर दी है। तेरे व्यवहार को छिन्न-भिन्न कर दिया है। एक दुर्विचार ने तुम्हारे मोहक व्यक्तित्व का हनन कर डाला है। मेरे मित्र, शीघ्र ही उस दुर्विचार को दिमाग से निकाल दे। ___ मॉडवी में २५ दिन रहे। नियमित प्रवचन होते रहे। अब अंजार की ओर विहार कर दिया है। अंजार में कुछ समय स्थिरता करने की भावना है। तेरा पत्र अंजार में मिलेगा? तेरे तन-मन की स्वस्थता चाहता हूँ।
नानी खाखर (कच्छ) ५-४-८०
- प्रियदर्शन
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