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भगवतीसूत्रे
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आयाओ य अवत्तव्वं आयाइय नो आयाइय३, सिय आयाओ य अवत्तव्वाइं आयाओ य नो आयाओ य४, (३४८११) सिय नो आया य अवत्तव्वं आयाइय नो आयाइय१, सिय नो आया य अवत्तव्वाइं आयाओ य नो आयाओ य२, सिय नो आयाओ य अवत्तव्वं आयाइय नो आयाइय३, सिय नो आयाओय अवत्तबाइं आयाओ य नो आयाओ य ॥४॥(१५) सिय आया य नो आया य अवत्तवं आयाइय नो आयाइय१६, सिय आया य नो आया य अवत्तवाइं आयाओ य नो आयाओ य१७, सिय आया य नो आयाओ य अवत्तवं आयाइय नो आयाइय१८सियआयाओय नो आयाय अवतव्वं आयाइय नोआयाइय१९। से केणटेणं भंते! एवं वुच्चइ चउप्पएसिए खंधे सिय आया य नो आया य अवत्तवं तं चेव अटुं पडिउच्चारेयवं? गोयमा! अप्पणो आइट्टे आया१, परस्त आइटे नो आया२, तदुभयस्स आइटे अवत्तवं आयाइय नो आयाइय३, देसे आइटे सब्भावपज्जवे देसे आइट्टे असब्भावपज्जवे चउभंगो४। सब्भावपज्जवेणं तदुभयेणं य चउभंगा४। असम्भावेणं तदुभयेण य चउभंगो ४। (१५) देसे आइढे सब्भावपज्जवे देसे आइटे असभावपज्जवे, देसे आइटे तदुभयपज्जवे चउप्पएसिए खंधे आया य नो आया य अवत्तवं आयाइय नो आयाइय१६, देसे आइट्टे सम्भावपज्जवे देसे आइट्टे असब्भावपज्जवे देसा आइट्टा तदुभयपज्जवा चउप्पएसिए खंधे भवइ, आया य नो आया य अवत्तव्वाइं आयाओ य नो आयाओ य १७, देसे आइहे सम्भा
શ્રી ભગવતી સૂત્ર : ૧૦