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चम्पापुर में बलभद्र नाम का एक धनवान सेठ रहता था। सेठ के पाँच पुत्र थे। पाँचों ही बड़े विनीत, सुन्दर और बुद्धिमान् थे।
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इस भरेपूरे सुखी परिवार को देखकर लोग कहतेदेखो, पुण्य का फल तो सेठ भाई, बड़ा धर्मनिष्ठ है। बलभद्र भोग रहा है। घर में ) व्यापार में नीति और सुख-सम्पत्ति, आज्ञाकारी सन्तान । सत्यनिष्ठा इसके जैसी और राज में प्रतिष्ठा
नहीं देखी।
| उसकी दुकान पर सुबह से शाम तक दूर-दूर के ग्राहकों की भीड़ लगी रहती थी
सत्यनिष्ठा का प्रत्यक्ष फल देखो। सेठ का व्यापार दिन दूना रात चौगुना बढ़ता ही जा रहा है।