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464... जैन गृहस्थ के व्रतारोपण सम्बन्धी विधियों का प्रासंगिक
क्र. ग्रन्थ का नाम
91. पद्मचरित
92. पुरूषार्थसिद्धयुपाय
93. पंचलिंगीप्रकरण
94. पंचवस्तुक (भा. 1-2)
95. पंचप्रतिक्रमण सूत्रार्थ (खरतरगच्छ )
96. पंचप्रतिक्रमणसूत्रविधि | (अचलगच्छ)
99. पंचाशक टीका
100. पंचविंशतिका
लेखक/संपादक
श्री मद्रविषेणाचार्य
101. प्रतिक्रमणविधिसंग्रह
अनु. गंभीरचन्द्र
जैन
जिनेश्वरसूरि
97. पंचप्रतिक्रमणसूत्रविधि पार्श्वचन्दसूरि (पार्श्वचंद्रगच्छ)
98. पंचाशकप्रकरण
|हरिभद्रसूरि रचित अनु. राजशेखरसूरि
आ. गुणसागरसूरि
प्रकाशक
माणिकचन्द्र जैन
ग्रंथमाला, मुंबई
पद्मनन्दिकृत
दुलीचन्द्रजी जैन
ग्रंथमाला
सोनगढ़, (सौराष्ट्र)
पं. कल्याणविजय
| शुभ संकल्प बया | मेटाररियल ट्रस्ट ई. 26
भूपालपुरा, उदयपुर
अरिहंत आराधक ट्रस्ट,
हिन्दुस्तान मिल स्टोर्स, गनी अपार्ट, भिवंडी
श्री जैन साहित्य प्रकाशन समिति, कलकत्ता
चंदुलालगांगजी | फेमवाला, श्री क. वि. ओ. | दे. जैन महाजन,
मुंबई
अनु. दीनानाथ शर्मा पार्श्वनाथ विद्यापीठ, वाराणसी
| पार्श्वचन्द्रसूरि ज्ञानमंदिर चेम्बुर, मुंबई
आचार्य अभयदेवसूरि जैन धर्म प्रसारक सभा,
भावनगर
| जैनसंस्कृति संरक्षक | संघ, सोलापुर
श्रीमांडवलाजैनसंघ,
मांडवला
वर्ष
वि.सं.
1985
वि.सं.
2499
वि.सं.
2060
वि.सं.
2036
वि.सं.
2048
1992
1997
1912
1977
1973