________________ 75 ष्ठा गतिनिवृत्तौ, तिष्ठति तिष्ठतु // 69 // षः सोऽष्टयैष्ठिवष्वष्क: पाठे धात्वादेः, अस्थात् // 70 / / अघोष शिंटो लुक् / पूर्वस्य, तस्थौ स्थेयात् स्थाता // 71 / / स्थासेनिसेधसिचसञ्जां द्वित्वेऽपि / नाम्यादोः षः, अपिनाऽटयपि, प्रत्यष्ठात् // 72 // उदः स्थास्तम्भः सलुक / उत्तिष्ठति / म्ना अभ्यासे, मनेत अम्नासिषम मम्निव म्नेयात् म्नायात अम्नास्यत् / दाम दाने, यच्छति अदात देयात् // 73 // नेडादापतपदनदगदवपिवहिशमूचिग्यातिद्रातिप्सातिस्यतिहन्तिदेग्धौ अदुरुपसर्गान्तरो रषुर्ने! णः, प्रणियच्छति, अधर्म्यसंप्रदाने आत्मनेपदं, दास्या संप्रयच्छते / जि ज्रि अभिभवे, जयति / // 74 / / सिचि परस्मै समानस्याडिति वृद्धिः, अजैषीत अजषुः अजैषीः // 55 // जेगिः सम्परोक्षयोः // 76 // नामिनोऽकलिहलेवृद्धिणिति, जिगाय (योsनेकस्वरेति) जिग्यतुः जिगयिथ जिगेथ // 77 // णिद्वाऽन्त्योणव / जिगाय जिगय जिग्यिव // 78 // दीर्घश्वियङ्यकक्येषु च / चात अशिषियि, जीयात जेष्यति / क्षि क्षये, क्षयतु अझैषीः / // 79 // कङश्चञ् पूर्वस्य, चिक्षाय / इदुद्रुशुम्र गतो, अयति / / 80 // स्वरादेस्तासु अद्यतन्यादिषु