________________ श्रीसूर्यसहस्रनामसङ्ग्रहत्रयम् जगत्पिता 580. यम:५८१. जनार्दन: 582. जनानन्द: 583. चण्डकरः 584. जनेश्वर: 585. जङ्गम: 586. जनयिता 587. चराचरात्मा 588. यशस्वी 589. जिष्णु: 590. जितावरीशः 591. जितवपु: 592. जितेन्द्रिय: 593. चतुर्भुजः 594. चतुर्वेदः 595. चतुर्वेदमय: 596. चतुर्मुख: 597. चित्राङ्गदः 598. वासुकि: 599. वासरेशिता 600. वासरस्वामी 601. वासरप्रभुः 602. वासरप्रियः 603. वासरेश्वरः 604. वाहनार्तिहरः 605. वायुः 606. वायुवाहनः 607. वायुरताः 608. वाग्विशारदः 609. वाग्मी 610. वारिधिः 611. वारण: 612. वसुदाता 613. वसुप्रदः 614. वसुप्रियः 615. वसुमान् 616. विसृज: 617. विहारी 618. विहगवाहनः 619. विहङ्गः 620. विहङ्गमः 621. विहित: 622. विधिः 623. विधाता 624. विधेय: 625. वदान्य: 626. विद्वान् 627. विद्योतनः 628. विद्या 629. विद्यावान् 630. विद्याराजः 631. विद्युत् 632. विद्युद्वान् 633. विदिताशयः 634. विपाप्मा 635. विभावसुः 636. विभव: 637. वर्चसांपतिः 638. विजयः 639. विजयप्रदः 640. विजेता 641. विचक्षणः 642. विवस्वान् 643. विविधः 644. विविधासनः 645. वज्रधरः 646. व्याधिहा 647. व्याधिनाशन: 648: व्यास: 649. वेदाङ्गः 650. वेदपारग: 651. वेदभृत् 652. वेदवाहन: 653. वेदवेद्यः 654. विदवित् 655. वैद्यः 656. वेदकर्ता 657. वेदमूर्तिः 658. वेदन्लिय: 659. व्योमग: 660. विचित्ररथ: 661. व्योममणि: 662. वेगवान् 663. विगतात्मा 664, वीरः 665. वैश्रवण: 666. विगाही 667. विघ्नशमन: 668. विघृण: 669: विग्रहः 670. विकृति: 671. वक्ता 672. व्यक्ताव्यक्तः 673. विगतारिष्ट: 674. विमलः 675. विमलद्युति: 676. . 180