________________ झिझंति य पासंडा, चोरेहि य जणवया विलुप्पंति / होहिंति दाणि गामा केवलसंवाहमेत्ता वि. // 630 / / एत्थ किर मज्झदेसे पविरलमणुएसु नामदेसेसु। हय-गय-गो-महिसाणं-कहिचि किच्छाहि उवलंभो // 631 // चोरा रायकुलभयं, गंध-रसा जिज्झिहिंति अणुसमयं / दुब्भिक्खमणावुट्ठीय नामप(? ब)लियंपवज्जि(? ज्जी) ही (?) // 632 रातीणं च विरोहो ईईबहुला य जणवया तइया / जम्मम्मि तस्स एते नियंव(?यय) भावा मुणेयव्वा. // 633 // अट्ठारस य कुमारो वरिसा डामरितो तत्तियं कालं / अर(?व)सेसयम्मि काले भरहे राया अणंत(?णण्ण)समे // 634 // जं एयं वरनगरं पाडलिपुत्तं ति विस्सुअंलोए। एत्थं होही राया चउम्मुहो नाम नामेणं .. // 635 // सो अविणयपज्जत्तो अण्णनरिंदे तणं पिव गणंतो। नगरं आहिंडंतो पेच्छीही पंच थूभे उ // 636 // पुट्ठा य बेंति मणुया "नंदो राया चिरं इहं आसि। .. बलितो अत्थसमिद्धो रूयसमिद्धो जससमिद्धो // 637 // तेण उ इहं हिरण्णं निक्खित्तं सुबहुबलपमत्तेणं / न य णं तरंति अण्णे रायणो दाणि घेत्तुं जे" - ||638 // तं वयणं सोऊणं खणेहिती ते समंतओ थूभे / नंदस्स संतियं तं पडिवज्जइ सो अह हिरणं // 639 // सो अत्थपडित्थद्धो अण्णनरिंदे तणं विअ गणितो / . अह सव्वतो महंतं खणाविही पुरवरं सव्वं नामेण लोणदेवी गावीरूवेण नाम अहिंउत्था (?) / धरणियला उब्भूया दीसीहि सिलामयी गावी // 641 // // 640 // 110