________________ अप्पहियमायरंतो अणुमोअंतो अ सुग्गई लहइ / रहकारदाणअणुमोअगो मिगो जह य बलदेवो // 108 // जं तं कयं पुरा पूरणेण अइदुक्करं चिरं कालं / जइ तं दयावरो इह, करिंतु तो सफलयं हुंतं - // 109 // कारणनीयावासी, सुठुयरं उज्जमेण जइयव्वं / .. जह ते संगमथेरा, सपाडिहेरा तयों आसी // 110 // एगंतनियावासी, घरसरणाईसु जइ ममत्तं पि। कह न पडिहंति कलिकलुसरोसदोसाण आवाए .. // 111 // अविकत्तिऊण जीवे, कत्तो घरसरणगुत्तिसंठप्पं / अवि कत्तिआ य तं तह, पडिआ अस्संजयाण पहे // 112 // थोवो वि गिहिपसंगो, जइणो सुद्धस्स पंकमावहई / जह सो वारत्तरिसी, हसिओ पज्जोअनरवइणा // 113 // सब्भावो वीसंभो, नेहो रइवइयरो अ जुवइजणे / सयणघरसंपसारो, तवसीलवयाई फेडिज्जा // 114 // जोइस-निमित्तअक्खर-कोउआएसभूइकम्मेहि / करणाणुमोअणाहि अ, साहुस्स तवक्खओ होइ // 115 // जह जह कीरइ संगो, तह तह पसरो खणे खणे होइ / थोवो वि होइ बहुओ, न य लहइ धिई निरंभंतो . // 116 // जो चयइ उत्तरगुणे, मूलगुणे वि अचिरेण सो चयइ / जह जह कुणइ पमायं, पिल्लिजइ तह कसाएहिं // 117 // जो निच्छएण गिण्हइ, देहच्चाए वि न य धिई मुअइ। . सो साहेइ सकज्जं, जह चंदवडिसओ राया // 118 // सीउण्हखुप्पिवासं, दुस्सिज्जपरीसहं किलेसं चं। . जो सहइ तस्स धम्मो, जो धिइमं सो तवं चरइ // 119 //