________________ 284 ] [भौमदागमसुधासिन्धुः : द्वितीयो विमागः योगबंधंतरे णं भंते ! कालो केवचिरं होइ ?, गोयमा ! अणाइयस्स एवं जहा तेयगसरीरस्स अंतरं तहेव एवं जाव अंतराइयस्स 18 / एएसि णं भंते ! जीवाणं नाणावरणिज्जस्स कम्मस्स देसबंधगाणं श्रबंधगाण य कयरे 2 जाव अप्पाबहुगं जहा तेयगस्स 11 / एवं श्राउयवज्ज जाव अंतराइयस्स / श्राउयस्स पुच्छा, गोयमा ! सव्वत्थोवा जीवा श्राउयस्स कम्मस्स देसबंधगा श्रबंधगा संखेनगुणा 5, 20 // सूत्रं 351 // जस्स णं भंते ! ओरालियसरीरस्स सञ्चबंधे से णं भंते ! वेउब्वियसरीरस्स किं बंधए अबंधए ?, गोयमा ! नो बंधए अबंधए 1 / श्राहारगसरीरस्स किं बंधए प्रबंधए ?, गोयमा ! नो बंधए प्रबंधए 2 / तेयासरीरस्स किं बंधए प्रबंधए ?, गोयमा ! बंधए नो अबंधए 3 / जइ बंधए किं देसबंधए सबबंधए ?, गोयमा ! देसबंधए नो सबबंधए 4 / कम्मासरीरस्स किं बंधए प्रबंधए ?, जहेव तेयगस्स जाव देसबंधए नो सव्वबंधए 5 / जस्स णं भंते ! श्रोरालियसरीरस्स देसबंधे से णं भंते ! वेउब्वियसरीरस्स कि बंधए अबंधए ?, गोयमा! नो बंधए श्रबंधए, एवं जहेव सव्वबंधेणं भणियं तहेव देसवधेणवि भाणियव्वं जाव कम्मगस्स 6 / जस्म णं भंते ! वेउव्वियसरीस्स्स सबबंधए से णं भंते ! श्रोरालियसरीरस्स किं बंधए अबंधए !, मोयमा ! नो बंधए अबंधए, अाहारगसरीरस्स एवं चेव, तेयगस्स कम्मगस्स य जहेव ओरालिएणं समं भणियं तहेव भाणियव्वं जाव देसबंधए नो सव्वबंधए 7 / जस्स णं भंते ! वेउब्बियसरीरस्स देसबंधे से णं भंते ! भोरालियसरीरस्स किं बंधए अबंधए ?, गोयमा ! नो बंधए अबंधए, एवं जहा सव्वबंधेणं भणियं तहेव देसवंधेणवि भाणियव्वं जाव कम्मगस्स 8 / जस्स णं भंते ! श्राहारगसरीरस्स सव्वबंधे से णं भंते ! श्रोरालियसरीरस्स किं बंधए प्रबंधए ?, गोयमा ! नो बंधए प्रबंधए, एवं वेउब्वियस्सवि, तेयाकम्माणं जहेव श्रोरालिएणं समं भणियं