________________ 602 न्यायकुमुदचन्द्रे 329 319 292 635 878 392 rap. rom प्रवृति प्रसङ्गसम प्रसारण प्राकाम्य प्राकृतबन्ध प्राप्ति प्राप्तिसम प्रेत्यभाव प्रेषणा फल बुद्धि भव भाव भाववाक्य भाविजीव भाविनोआगम 2MMAuror aro 310 852 309 4GK 110 324 360 319 418 / 14; 422 / 9 309 24 4044 भूत 61015; 62011 621115, 7908 873 13. 812 मतानुज्ञा मन महिमा मुक्ति मुख्यप्रत्यक्ष मूर्तत्व यत्रकामावसायिता योग्यता रस 52 787 310 2] विप्रतिपत्ति 326 | विभाग 280 विरुद्ध 111 विशेष 110 विसंवाद 111 वेद (लिङ्ग) 325 वेदना वेद्य 588 वैकारिक 310 | वैधर्म्यसम व्यतिकर 392 व्यभिचार 803 व्याप्ति 742 शरीर 807 श्रुत संख्या 391 संग्रह 334 12 संग्रहन य .310 / 17 / 3959 संग्रहाभास संयम 839 संवर 25 संव्यवहार 23 संव्यवहार प्रत्यक्ष संशय 31218, 18416, 538 / 13 संशयसम 273 संसार . संस्कार सङ्कर 391 सङ्केत सत् 568 समवाय समवायिकारण समारोप 325 सम्यक्चारित्र 111 सम्यज्ञान सम्यग्दर्शन 738 सर्वतन्त्रसिद्धान्त 754 सव्यभिचार सादृश्य 872 साधन 325 साधर्म्यसमः J साध्यसम 334. .. 8 साध्यसमा 129 / 15; 39124 सामात्यछल सिद्धान्त 255 52 / 6, 3107 रूप 273 * س س ه س 21 सत्त्व 13 रूपश्लेष रूपस्कन्ध लक्षण लक्षणा लघिमा लज्जा वये वर्ण्यसमा वशित्व वाक् छल वाक्य वाक्यस्फोट 110 874 324 *4...................... 829 3 391 360 . 539. 3 802 24 364 215 / 9, 294118 217 524 865 865 865 312 319 719 802 323 320 325 322 3128 129 / 15, 789 / 14 पसमा """""22200 321 वाद ध 11 वादलब्धि विकल्पसमा विक्रियालब्धि विक्षेप विज्ञान वितण्डा विद्या विधान विधि विपर्यय 802 . सुषुप्त 573 11. सुषप्ताद्यवस्था 527. स्थिति 849 - 802 . 7 20