________________ -नान्यश्च] बीन्द्रव्याकरणम् न पात्रादयः 2 / 2 / 80 / नशेः क्षः 6 / 4 / 130 / न पा-दम-आयम-आयस-परिमुह-अत्ति- नशः अङि 5 / 3 / 124 / रुचि-नृति-धेट्-वद-वस: 1 / 4 / 141 / नशः झलि 5 / 4 / 12 / नपुंसकात् 2 / 1 / 18 / नश् च अनन्त्यस्य झलि 6 / 4 / / नपुंसकात् वा 4 / 4 / 12 / नश् छवि अप्रशान् 6 / 4 / 3 / नपुंसके च अर्धर्च-आदयः 2 / 2 / 83 / न संबुद्धौ 5 / 4 / 46 / नपुंसके वा 6 / 3 / 50 / न संबुद्धौ 6 / 3 / 46 / न प्लुतः अनितौ 5 / 1 / 123 / . न संयोगात् व-मः 5 / 3 / 133 / न भा-भू-पूञ -कमि-गमि-प्यायी-वेपाम् न सामान्यवचनम् एकार्थे 6 / 4 / 128 / 6 / 3 / 25 / नमः-स्वस्ति-स्वाहा-स्वधा-वषट्-शक्ताथैः न सु-दुरः केवलात् 5 / 4 / 22 / . 2 / 17 / न सुपि यचि 6 / 3 / 10 / / नमसः 6 / 4 / 42 / नस् नासिकायाः तस्-क्षुद्रे 5 / 2 / 61 / नमस्-तपस्-वरिवसः क्यच् 111137 / न स्नोः 5 / 4 / 125 / नमि-मनि-जनाम् नाकि-ध-तश्च (उणादि) न स्वप्रसारणे 1 / 4 / 55 / 1110 / नह-आहः धः 6 / 3 / 65 / नहन्नाह . न यत्-तदोः 6 / 177 / नहि-वृति-वृषि-व्यधि-रुचि-सहि-तनिषु न यदि 11276 / __ क्वौ 5 / 2 / 140 / न य-दीक्षः 1 / 2 / 101 / नाक्रोशे पुत्रस्य आदिनि तत्परे च न यवादिभ्यः 6 / 3 / 38 / 6 / 4 / 145 // न राज-आचार्य-वृषन्-ब्राह्मणात् नाग्लोपिशास्वृदिताम् 6 / 1 / 62 / 4 / 1 / 5 // नाझेः शतुः 5 / 4 / 32 // नरिका 6 / 176 / नाञ्चः पूजायाम् 5 / 3 / 50 / नरे नाम्नि 5 / 2 / 130 / नाडी-तन्त्रयोः स्वाङ्गे 4 / 4 / 147 / . न ल-निर्धार्य-पूरण-भाव-तृप्ताथैः 2 / 2 / 23 / नातः 6 / 1 / 37 / न लिङि 5 / 4 / 102 / नातः अम् अपञ्चम्याः 2 / 1 / 41 / न ल्यपि 5 / 3 / 80 / नात् इचि 5 / 1 / 111 // नबयज्ञादिभ्यः 4 / 2 / 124 / नात् ऐचि अग्नेः अविष्णौ 5 / 2 / 24 / नवात् 4 / 4 / 28 / नाद्यन्तयोः 6 / 4 / 10 / न व्यतिहारे 6 / 1 / 17 / नानु-पराभ्याम् कृतः 1 / 4 / 131 // न शस-दद-वादि-अदेङाम् 5 / 3 / 125 // नानोः तपः 1176 / / . न शुभ-रुचः 111144 / नान्यश्च नामाप्रधानात् 2 / 1 / 10 /