________________ RAREERaavanivaareePapayaawwaliNVERNMyIme बे. अधिकार नमुत्थुणना जाणवा. तथा त्रीजां अधिकारे एक चैत्यना स्थापनाजिनने हूं वांदं वं, एटले एक देरासर मांहेली सर्व प्रतिमाने वंदन करवू ए अरिहंत चेश्याणंने पाठे जाणवो. ए सूत्रांमां एकज अधिकार . तथा लोगस्त उकोयगरे रूप चोथा अधिकारने विषे श्री षन्नादिक नाम जिनने हुं वां, ढुं॥४३॥ तिहुअण-त्रण भुवन / विषे / | सत्तमए-सातमा अधिकारमा | सव्व-सर्व हवणजिणे-स्थापना जिन | विहरमाण-विहरमाण / | सुयनाणं-श्री श्रुतज्ञान मत्य सिद्ध-सिद्धनी पुण-वली जिण-जिन मत्ये . | अट्ठमए-आठमामां थुइ-स्तुति पंचमए-पांचमा अधिकारने छठे-छहा varnamaARAMMRATANDONaware/a/amvariseasesever तिहुअणवण जिणे पुण, पंचमए विहरमाण जिणछठे॥ सत्तमए सुयनाणं, अठमए सब्ब सिद्ध थुई // 44 // sinin Education national For Personal & Private Use Only www jane yg