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भगवती सूत्र-श. २५ उ. ६ संयम्-स्थान
-- ६९ उत्तर-गोयमा ! असंखेजा संजमट्ठाणा पण्णत्ता। एवं जाव कसायकुसीलस्स।
भावार्थ-६९ प्रश्न-हे भगवन् ! पुलाक के संयम-स्थान कितने कहे हैं ?
६९ उत्तर-हे गौतम ! पुलाक के संयम-स्थान असंख्य कहे है । इसी प्रकार यावत् कषाय-कुशील पर्यन्त ।
७० प्रश्न-णियंठस्स णं भंते ! केवइया संजमट्ठाणा पण्णत्ता ?
७. उत्तर-गोयमा ! एगे अजहण्णमणुक्कोसए संजमट्ठाणे, एवं सिणायस्स वि।
भावार्थ-७० प्रश्न-हे भगवन् ! निग्रंथ के संयम-स्थान कितने कहे हैं ? -७० उत्तरे-हे गौतम ! एक ही अजघन्यानुत्कृष्ट संयम-स्थान कहा है। इसी प्रकार स्नातक के भी।
. ७१ प्रश्न-एएसि णं भंते ! पुलाग-बउस-पडिसेवणा कसाया । कुसील-णियंठ-सिणायाणं संजमट्ठाणाणं कयरे कयरे० जाव विसेसाहिया वा ?
७१ उत्तर-गोयमा ! सव्वत्थोवे णियंठस्स सिणायस्स य एगे अजहण्णमणुकोसए संजमट्ठाणे, पुलागस्स णं संजमट्ठाणा असंखेजगुणा, बउसस्स संजमट्ठाणा असंखेजगुणा, पडिसेवणाकुसीलस्स संजमहाणा असंखेजगुणा, कसायकुसीलस्स संजमट्ठाणा असंखेनगुणा १४॥
भावार्थ-७१ प्रश्न-हे भगवन् ! पुलाक, बकुश, प्रतिसेवना-कुशील,
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