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शौरसेनी जैनागमों के परम उद्धारक, बुन्देलभूमि के यशस्वी सुत,
महान् स्वतन्त्रता सेनानी.
कर्मठ समाजसेवी,
दार्शनिक, विचारक एवं निर्भीक ओजस्वी वक्ता, जिनवाणीसेवा के लिए सदा समर्पित व्यक्तित्व
तथा
महाकवि देवीदास के साहित्य के प्रकाशन के प्रेरक सूत्रधार,
श्रद्धेय पूज्य पण्डित फूलचन्द्र जी सिद्धान्त शास्त्री
की पुण्य स्मृति में सादर समर्पित
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- विद्यावती जैन
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