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भारतीय आचारदर्शन में ज्ञान की विधाएँ
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7. भगवतीसूत्र, 18/6/44-46.
तत्त्वार्थसूत्र, 1/9. 9. वही, 1/11-12. 10. वही, 1/14. 11. वही,9/45. 12. वही, 1/20
अंगुत्तरनिकाय, पृ. 2. 14. माध्यमिककारिका, 24/8. 15. देखिए-शंकर्स ब्रह्मवाद, पृ. 166-171. 16. ए क्रिटिकल सर्वे ऑफ इण्डियन फिलासफी, पृ. 59. 17. नयचक्र, उद्धृत-नयवाद, पृ. 36 18. विशेषावश्यकभाष्य, उद्धृत-नयवाद भूमिका, पृ. 2. 19. गीता, 4/16-17. 20. नैतिक-जीवन का सिद्धान्त, पृ. 184.
अभिधानराजेन्द्रकोश, खण्ड 4, पृ. 1853. 22. वही.
देखिए-आचरांग 1/5/6/171; तैतिरीयोपनिषद्, 2/9; मुण्डकोपनिषद्, 3/1/8;
उदान, 8/1,3. 24. समयसार, 142
समयसारटीका, 69
समयसार, 8. 27. माध्यमिककारिका, 24/10.
भगवद्गीता (रा.), पृ. 114.
आभास और सत्; पृ. 480. 30. आगमयुग का जैन-दर्शन, पृ. 268-69. 31. समयसार, 141-142.
वही, 7. 33. माध्यमिककारिका, 8 15-6; बौद्धदर्शनमीमांसा, पृ. 288. 34. देखिए-ब्रह्मसूत्रशांकरभाष्य अध्यास विवेचना, भामतीटीका सहित. 35. अभिधानराजेन्द्रकोश, खण्ड 4, पृ. 2056. 36. दर्शन और चिन्तन, खण्ड 2, पृ. 500. 37. मध्यमार्थसंग्रह, उद्धृत-दीसेण्ट्रल फिलासफीआफ बुद्धिज्म, पृ. 248.
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