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अतगडदसाओ
पढमे सत्तए एक्केक्कं भोयणस्स दत्ति पडिगाहेइ, एक्केक्कं पाणयस्स । दोच्चे सत्तए दो-दो भोयणस्स दो-दो पाणयस्स पडिगाहेइ । तच्चे सत्तए तिण्णि-तिण्णि दत्तीयो भोयणस्स, तिण्णि-तिण्णि दत्तीग्रो पाणयस्स। चउत्थे सत्तए चत्तारि-चत्तारि दत्तीग्रो भोयणस्स, चत्तारि-चतारि दत्तीग्रो पाणयस्स। पंचमे सत्तए पंच-पंच दत्तीओ भोयणस्स, पंच-पंच दत्तीयो पाणयस्स । छट्टे सत्तए छ-छ दत्तीपो भोयणस्स, छ-छ दत्तीग्रो पाणयस्स । सत्तमे सत्तए सत्त-सत्त दत्तीग्रो भोयणस्स, सत्त-सत्त दत्तीग्रो पाणयस्स पडिगाहेइ। एवं खलु एवं सत्तसत्तमियं भिक्खुपडिमं एगूणपण्णाए रातिदिएहि एगेण य छण्णउएण भिक्खासएणं ग्रहासुत्तं जाव पाराहेत्ता जेणेव अज्जचंदणा अज्जा तेणेव उवागया, उवागच्छित्ता अज्जचंदणं अज्जं वंदइ नमसइ, वंदित्ता नमसित्ता एवं वयासी-इच्छामि णं अज्जायो ! तुन्भेहि अब्भणुण्णाया स माणी अट्टमियं भिक्खुपडिमं उवसंपज्जित्ता णं विहरेत्तए।।
अहासुहं देवाणुप्पिए ! मा पडिबंध करेहि ॥ २४. तए णं सा सुकण्हा अज्जा अज्जचंदणाए अज्जाए अब्भणुण्णाया समाणी
अट्टमियं भिक्खुपडिम उवसंपज्जित्ता णं विहरइपढम अट्ठए एक्केक्कं भोयणस्स दत्ति पडिगाहेइ, एक्केक्कं पाणयस्स जाव अट्टमे अट्ठए अट्ठट्ठ भोयणस्स पडिगाहेइ, अट्ठट्ठ पाणयस्स । एव खलु एयं अट्ठमियं भिक्खुपडिमं चउसट्ठीए रातिदिएहि दोहि य अट्ठासीएहि भिक्खासएहि अहासुत्तं' पाराहेत्ता जाव' नवनवमियं भिवखुपडिम उवसंपज्जित्ता णं विहरइपढमे नवए एक्केक्कं भोयणस्स दत्ति पडिगाहेइ, एक्केक्कं पाणयस्स जाव नवमे नवए नव-नव दत्तीग्रो भोयणस्स पडिगाहेइ, नव-नव पाणयस्स । एवं खलु एयं नवनवमियं भिक्खुपडिम एक्कासीतिए राइंदिएहिं चउहि य पंचत्तरहि भिक्खासएहि अहासुत्तं' आराहेत्ता जाव' दसदसमियं भिक्खुपडिम उवसंपज्जित्ता णं विहरइपढमे दसए एक्केक्क भोयणस्स दत्ति पडिगाहेइ, एक्केक्कं पाणयस्स जाव
१. अं० ८।८। २. पू० --अं० ८।२३ । ३. अं० ८।२३।
४. पाणस्स (क, ख, ग, घ)। ५. पू.---१० ८।२३ । ६. अ० ८।२३ ।
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