________________ सोलहवां अध्ययन [371 40-50 पृथ्वी आदि की विराधना वाले तथा अन्तरिक्षजात स्थानों पर मल-मूत्र परठने का निषेध / -प्राचा. श्रु. 2, अ. 10 इस उद्देशक के 18 सूत्रों के विषयों का कथन अन्य आगमों में नहीं है, यथा-- सूत्र 12 अरण्य वन अटवी आदि में रहने तथा जाने-आने वालों से आहार नहीं लेना। 13-14 अल्प या विशेष चारित्रवान् के सम्बन्ध में विपरीत कथन नहीं करना / 16-24 कदाग्रही से लेन-देन सम्पर्क नहीं करना / 33-35 भूमि, आसन पर या खूटी आदि पर आहार नहीं रखना / 36-37 गृहस्थ के साथ बैठकर या उसके सामने बैठकर आहार नहीं करना / गणना या परिमाण से अधिक उपधि नहीं रखना / // सोलहवां उद्देशक समाप्त // Jain Education International For Private & Personal Use Only www.jainelibrary.org