SearchBrowseAboutContactDonate
Page Preview
Page 137
Loading...
Download File
Download File
Page Text
________________ ११८] क्र.सं. १. २. ३. ४. ५. ६. ७. ८. ९. १०. ११. १२. कल्पादि के नाम सौधर्मकल्प ईशानकल्प सनत्कुमारकल्प माहेन्द्रकल्प ब्रह्मलोककल्प लान्तककल्प महाशुक्रकल्प सहस्रारकल्प आनतकल्प प्राणतकल्प आरणकल्प अच्युतकल्प देवों के नाम जघन्यस्थिति १ पल्योपम १ पल्यो. से कुछ अधिक २ सागरोपम २. सागरोपम से अधिक ७ सागरोपम १० सागरोपम १४ सागरोपम १७ सागरोपम १८ सागरोपम १९ सागरोपम २० सागरोपम २१ सागरोपम जघन्यस्थिति २२ सागरोपम २३ सागरोपम २४ सागरोपम [ जीवाजीवाभिगमसूत्र २५ सागरोपम २६ सागरोपम २७ सागरोपम २८ सागरोपम २९ सागरोपम ३० सागरोपम ३१ सागरोपम ३१ सागरोपम ३१ सागरोपम ३१ सागरोपम अजघन्योत्कर्ष उत्कृष्टस्थिति २ सागरोपम २ सागरोपम से कुछ अधिक ७ सागरोपम ७ सागरोपम से अधिक १० सागरोपम १४ सागरोपम १७ सागरोपम १८ सागरोपम १९ सागरोपम २० सागरोपम २१ सागरोपम २२ सागरोपम उत्कृष्टस्थिति २३ सागरोपम २४ सागरोपम २५ सागरोपम २६ सागरोपम २७ सागरोपम २८ सागरोपम २९ सागरोपम प्रथम ग्रैवेयक द्वितीय ग्रैवेयक तृतीय ग्रैवेयक चतुर्थ ग्रैवेयक पंचम ग्रैवेयक षष्ठ ग्रैवेयक सप्तम ग्रैवेयक अष्टम ग्रैवेयक नवम ग्रैवेयक विजय अनुत्तर विमान वेजयंत अनुत्तर विमान जयंत अनुत्तर विमान अपराजित अनुत्तर विमान सर्वार्थसिद्ध अनुत्तर विमान उद्वर्तनाद्वार - सौधर्म देवलोक के देव बादर पर्याप्त पृथ्वीकाय अप्काय और वनस्पतिकाय में, ३० सागरोपम ३१ सागरोपम ३२ सागरोपम ३२ सागरोपम ३२ सागरोपम ३२ सागरोपम ३३ सागरोपम
SR No.003455
Book TitleAgam 14 Upang 03 Jivabhigam Sutra Part 02 Stahanakvasi
Original Sutra AuthorN/A
AuthorMadhukarmuni, Rajendramuni, Shobhachad Bharilla
PublisherAgam Prakashan Samiti
Publication Year1991
Total Pages242
LanguageHindi
ClassificationBook_Devnagari, Agam, Canon, Metaphysics, & agam_jivajivabhigam
File Size5 MB
Copyright © Jain Education International. All rights reserved. | Privacy Policy