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पश्चिमी भारत की यात्रा
थर्मामीटर ७७° पर था अर्थात् उसी समय के मैदान के तापमान से पूरे १५० कम था और इस प्रकार चढ़ाई का ठीक-ठीक सूचन कर रहा था। दो वर्ष पहले अरावली से मारवाड़ में उतरते समय मुझे पारा धोखा दे गया था और उस समय इस श्रेणो को घेरे हुए भू-भागों की तुलनात्मक ऊँचाई के बारे में मेरा सन्देह ज्यों का त्यों बना रह गया था, परन्तु बाद में मैंने यह सिद्ध कर दिया कि मारवाड़ के मैदान मेवाड़ के मैदानों से पूरे पाँच सौ फीट ऊँचे हैं । इसीलिए इस अवसर पर मैंने दोनों नलियों को फिर से भरने की सावधानी बरती; पहले इसको साफ कर लिया था और चाल में अन्तर न आने पावे इसलिए पारे को चढ़ाई के ठीक स्थान पर ला कर इसकी सचाई की जाँच कर ली थी। परन्तु, अब हम 'सन्त शिखर' (Saint's Pinnacle) की ओर आगे बढ़े जो सभी नीची चोटियों से ऊपर उठ कर अर्बुद के मस्तक पर मुकुट के समान जगमगा रहा है।
रास्ता एक छोटे से जंगल में हो कर था, जो करौंदे, काँटी और एक प्रकार की ऐसी झाड़ियों से भरा हुआ था जिन पर फल और फूल साथ-साथ बहुतायत से लदे हुए थे। करौंदे, जो हिन्दुस्तान में बोए जाते हैं, बहुत ज्यादा और बड़ेबड़े थे और इस समय पके-पके दिखाई देते थे। हम इन स्वादिष्ट फलों के आहार का आनन्द लेने के लिए जगह-जगह ठहर जाते थे और परिश्रम के कारण उत्पन्न हुई थकान व प्यास में इनका मज़ा दुगुना हो जाता था। काँटी का सुन्दर छोटा फल भी मज़ेदार था परन्तु यह मेरे लिये नया था और इसमें करौंदे जैसी ताजगी लाने वाली खटाई की कमी थी। आधे रास्ते पर हम उरिया (oraeh) में हो कर निकले जो पाबू की चढ़ाई की शोभा बढ़ाने वाली बारह ढाणियों में से एक है-आबू, जिसकी विचित्रताएं प्रतिक्षण बढ़ती जा रहीं थी और जिसकी विविध आकृति वाली चोटियों के बीच-बीच में घनी पत्रावली की गुम्बदें खड़ी हुई थीं। सुनहरी चम्पा
'गहरी, सुगन्धभरी, सुनहरी'
, सर विलियम जोन्स कृत 'कामदेव का गीत'। इन्होंने अपनी भारतीय वनस्पति (Indian
Botany) नामक पुस्तक में लिखा है कि सुनहरी रंग की चम्पा या चम्पक की तेज गन्ध भौंरे के लिए हानिकर समझी जाती है और वह इसके फूलों पर कभी नहीं बैठता। भारतीय रमरिणयों के सुन्दर काले केशपाशों में चम्पा के सुन्दर फूलों की शोभा का वर्णन रम्फ़ि प्रस (Rumphius) ने किया है और इन दोनों ही विषयों ने संस्कृत-कवियों की सुन्दर कल्पनाओं को प्रेरणा दी है। भषण ने भी शिवाजी को औरङ्गजेब के लिए भय का कारण बताते हुए कहा है :
“अलि नवरङ्गजेब चम्पा शिवराज है।"
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