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[420]... षष्ठ परिच्छेद
आपई
आपद्
आभीरखंचग
आभीर वञ्चक
आयरिय
आचारिक/आचरित/आचार्य
आराहणा असगदिय आलंबण आलोयणा आसाढभूई इंददत्त इंदभूइ इच्छक्कार
आराधना आरोग्यद्विज आलंबन आलोचना आषाढभूति इंद्रदत्त इन्द्रभूति इच्छाकार
इत्थी परिसह इरिया समिइ इलापुत्र
स्त्री परिषह ईर्यासमिति इलापुत्र
इसिभद्दपुत इसिभासिय इस्सर उउंब ( उंब) रदत
ऋषिभद्रपुत्र ऋषिभाषित ईश्वर उडुम्बरदत्त
अभिधान राजेन्द्र कोश की आचारपरक दार्शनिक शब्दावली का अनुशीलन द्रव्य आपति के विषय में धर्मघोष अणगार एवं भाव आपत्ति के विषय में दण्ड अणगार की कथा। लोभ एवं व्यापार में कपट के विषय में ग्वाले को ठगने वाले वणिक की उपनय कथा । गुरु के विनय के विषय में वैद्य का दृष्टांत, कौटुम्बिक का दृष्टांत, गर्भवती स्त्री का दृष्टांत, राजकुमार, सिंह एवं खरगोश की कथा। मरुदेवी माता और भरत चक्रवर्ती की कथा। गृहस्थ धर्मपालन के विषय में देवगुप्त के पुत्र आरोग्य ब्राह्मण की कथा। पृष्ट-अपृष्ट आलंबन के विषय में सार्थवाह की, और उदायन राजा की कथा । उज्जैनी के सिंहगिरि आचार्य एवं मल्ल की संक्षिप्त उपनय कथा। मायापिण्ड के विषय में आषाढभूति मुनि की कथा। मनुष्यभव की दुर्लभता के विषय में इंद्रपुर के राजा इंद्रदत्त की कथा। भगवान महावीर के प्रथम शिष्य इन्द्रभूतिगौतम की जीवन कथा । शिष्यों के लिये गुरु के प्रति इच्छाकार समाचारी के विषय में मरुक की, वानर की और वणिक की कथा। कामविजेता स्थूलभद्र की संक्षिप्त कथा। ईर्या समिति के पालन के विषय में साधु, शक्रेन्द्र एवं देव की कथा। शुद्ध भावना से रस्सी पर नाचते-नाचते केवलज्ञान प्राप्त करनेवाले इलाचीपुत्र की कथा। भाव श्रावक के विषय में ऋषिभद्रपुत्र श्रावक की कथा। दो साधु एवं यज्ञदत्त तापस तथा सोमयशा तपस्विनी की कथा । अगीतार्थता के दोष से दुःखप्राप्ति के विषय पर गोशालक की कथा । मांसप्रिय और मांसोपदेष्टा होने से उडुम्बरदत्त के उस भव, धन्वंतरि का भव एवं नरकगमन की कथा। साधु के आहार संबंधी उद्गमदोष संबंधी सरुप कुमार की कथा । साध्वियों के उपकरण संबंधी योद्धा की, मुरुंड राजा और उसकी बहन की, नर्तक की, कदली स्तंभ की कथा। जैनों के 22 वें तीर्थंकर श्री अरिष्टनेमि की कथा एवं गिरनार तीर्थ की उत्पत्ति की ऐतिहासिक कथा। भाव श्रावक के ऋजुव्यवहार पर हरिनन्दी की, भद्र श्रेष्ठी की एवं सुमित्र की कथा। दुःख विपाक के उज्झितक पुत्र की कथा । उष्णपरिषह के विषय में अर्हमित्र आचार्य, दत्त श्रावक और भद्रा श्राविका की कथा । सांवत्सरिक क्षमापना एवं आराधकत्व के विषय में उदयन राजा की कथा । कोणिकराजा और उदायी के पूर्वापर भव की कथा। संवत्सरी पर्व के विषय में उदयन राजा की कथा । आहार-ग्रहण हेतु गोचरी जानेवाले साधु को उद्देशित करके गो-वत्स के दृष्टान्तपूर्वक सागरदत्त श्रेष्ठी की पारिवारिक दृष्टांत कथा । औत्पतिकी बुद्धि के विषय में रोहक, जुआरी, वृक्ष, अभयकुमार, कौआ, धूर्त, हाथी, वैश्य, लाख के गोले, मार्ग, पति, पुत्र, अंगूठी, चिह्नित की हुई मोहरों, भिक्षु, धनुर्वेद शिक्षा, स्त्री एवं, परिव्राजक, सत्य एवं दृष्टांत कथाएँ। आरंभ-समारंभ के विषय में गृहांगण, काकणी रत्न या काषार्पण और आम की कथा। भाव उपक्रम के विषय में ब्राह्मणी, वेश्या और मंत्री की कथा । साधर्मिक के सद्गुण की प्रशंसा के विषय में श्रेणिक राजा की कथा। आचार्य पद पर योग्यात्मा के स्थापन के विषय में राजा तथा कुमारों की कथा ।
उग्गम अग्गहणंतग
उद्गम अवग्रहानन्तक
उज्जयंत
उज्जयंत
उज्जुववहार उज्झियय उण्हपरिसह उदयण उदाइ उदायण उद्देसिय
ऋजुव्यवहार उज्झितक उष्णपरिषह उदयन उदायिन् उदायन औद्देशिक
उप्पतिया
औत्पतिकी
उरम्भ
उरभ्र
उवक्कम उववूह (हा) उवसंपया
उपक्रम उपबृंहण उपसंपद्
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