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मू० पू० वि० प्रश्नोत्तर
उ०- क्या संसार खाता समझ मिथ्यात्व सेवन करने पर कर्म नहीं बंधता है ? अवश्य बंधता है फिर भी मैं पूछता हूँ कि आपको यह किसने समझाया कि संसार खाता में मिथ्यात्व सेवन की भी तुम्हें छूट है हाँ कई मायाचारी व्यापारी इन्कमटेक्स की चारी करने के लिये इस प्रकार दो खाते रखते होंगे । जैसे एक सरकार को दिखाने को दूसरा निज हिसाब को । पर जब इस बात का ज्ञान सरकार को होता है तब उस दो खाते वाले का क्या हाल होता है कभी आपको ही यह हाल तो न होगा जरा ख्याल करिये ।
प्र० -- पत्थर की गाय की पूजा करने पर क्या वह दूध दे सकती है ? यदि नहीं तो फिर पाषाण की मूर्ति कैसे मोक्ष दे सकती है ?
- हां ! जैसे मूर्ति मोक्ष का कारण है वैसे ही पत्थर की गाय भी दूध का कारण हो सकती है, जैसे "किसी मनुष्य ने पत्थर की गाय देखी उससे उसको असली गाय का भान जरूर होगया कि गाय इस शकल की होती है फिर वह एक समय जंगल में भूखा प्यासा भटक रहा था और उसने जंगल में एक चरती हुई गाय देखी, वह फट उस पूर्व दृष्ट ज्ञान से उसका दूध निकाल अपनी भूख प्यास को बुझा सकता है, क्यों यह पत्थर की गाय का प्रभाव नहीं है ? | मित्रो आखिर तो नकली से ही असली का ज्ञान होता है जैसे छठे गुणस्थान प्रमादावस्था नकली साधु है पर आगे चलकर वह ही तेरहवें गुणस्थान पहुँच सकता है ।
प्र०- - क्या पत्थर का सिंह प्राणियों को मार सकता है उ०- हाँ पत्थर का सिंह भी मार सकता है ? | इतना ही
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