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________________ ( 152 ) कल्मषापहू, कमलाकरबोधन, कमलानंद, गुण, गन्धवह, कुण्डली, गति, कज्जुकी; 'गुणवान, गणेश, गणेश्वर, गणनायक, गुरूगृहद, गृहपुष, गृहपति, ग्रहेश, ग्रहेश्वर, गुण, ग्रहण मंडन, क्रियाहेतु, क्रिकावान, गरीयान, किरीटी, कम्मसाक्षी, करण, किरण, कर्णेर्स, कृष्णवासा, कृष्णवर्मा, कृतकर्म्मा ( 800 ) कृताहार, कृतांता, कृतातिथि, कृनात्मा, कृतविश्व, कृती, कृत्यकृत्य, कृतंमंगल, कृतिनांवर, क्षांति, क्षधाज, क्षेम, क्षेमस्थिति, क्षेमप्रिय, क्षमा, कश्मलापह, गतिमान्, लोहितांग, लोकाध्यक्ष, लोकालोकन पस्कृत, लोकबन्धु, लोकवत्सल, लोकेश, लोककर, लोकनाथ, लोकसाक्षी, लोकत्रयासा, लय, मासमानिदामा, मांधाता, मानी, मारुत, मास्तडि, "मातो, मातर, महाबाहु, "महाबुद्धि, महाबल, महायोगी, महायशाः महावैद्य, "महावीय, महावराह, महावृत्ति, महाकारुणिकोत्तम, महाभाय, महामंत्र, महात्, महारथ, महास्ते (अ) ताप्रिय, महाशक्ति, महाशनि, महावेजा, महात्मा, मुहुर्त, महेन्द्र, महोत्साह, महेच्छ, महेश, महेश्वर, मिहिर, महित, महत्तर, मधूसूदन, मोक्षदायक, मोक्ष, मोक्षर्धर, मोक्षहेतु, मोक्षद्वार, मौनी, मेघा, मेघावी, मेधिक, मेध्य मेरुमेय, मुकुट, मनुमुनि, मंदार, संदेहक्षेपण, मनोहर, मनोहररूप, मंगल, मंगलालय मंगलवन, मंगली, मंगलकर्ता, मंत्र, मंत्रमूर्ति, मरीचिमाली, मृत्यु, मरूतांपति, मिष्टा स्वार, मर्ति, मतिमान्, नाकार, नाकपालि, नागराष्ट्र, नारायण, नाथः नभ, नअम्बान 'नमीविगाहर, नमकैतन, नूतन, नोत्तर, नयनेकरूप, नैकरूपात्मा, नीलकण्ठ, नील लो "हित, नेता, नियतात्मा, निकेतने, निक्षुपाभपति, नंदिवर्धन, नंदन, नर, निराकुल निराकार, निबन्ध, निर्गुण, निरंजन, निर्णय, नित्योदित, नित्य, नित्यगामी, निरं जर, नित्यरथ, राजा, राश्रीप्रिय, राज्ञापती, रवि, रविराज, रूचिप्रद, रूद्र, ऋद्धि, 'रोचिष्णु, रोगहा, रेणु, रेणुक, (पा० रेणव) रेवंत, हृषीकेश, रक्षोन्ध, रक्तांग, रश्मिमी, रि (ऋतु (900) रथाधीश, रथाध्यक्ष, रथारूढ़, रथपति, रथी रथिनांवर, शांतिप्रिय, शास्त्र (श्रव) त, साष्ठाक्षर, शुद्ध, शुभ, शुभाचार, शुभप्रद, शुभकम्म, dioदर, शुची, शिव, शोभा, शोभन, शुभ्र, सुर, शीघ्रग, शीघ्रगति, शीर्ण, शषशुक, शुग, सेक्तिमान्, शक्तिमता, श्रेष्ठ, शंभु शनैश्चर, शनैश्रपिता, शब्वं, श्रीधर, श्रीपति, श्रेयस्कर, श्रीकण्ठ, श्रीमान्, श्रीमतांवर, श्रीनिवास, श्रीनिकेतन, श्रेष्ठ हरिण्य, शरण्यात्तिहरे श्रुतिमान् शतबिन्दु शतमुख, तापी, तापन, तारापति, तावान, तपन, तपनांबर, विषामीश, त्वरमाण, स्वष्टा, तीव्र, तेज, तेजसांनिधि, तेजसा पति, तेजस्वी, तेजोनिधि, तेजोराशि, तेजोनिलय,, तीक्ष्ण, तीक्ष्णदीधिति तीर्थ, तिग्मांशु, ममिश्र, (स्व) हा, तमः, तमोहर, तमोनुद, तमोरांति, तपोध्न, तिमिराह, त्रिविष्टप, त्रिविक्रय, त्रय, नेता, त्रिकंसस्थित, त्रयक्षर, त्रिलोचन तरणिsias, त्रिलोकेश (1000) 25 Jain Education International For Private & Personal Use Only www.jainelibrary.org
SR No.003201
Book TitleMugal Samrato ki Dharmik Niti
Original Sutra AuthorN/A
AuthorNina Jain
PublisherKashiram Saraf Shivpuri
Publication Year1991
Total Pages254
LanguageHindi
ClassificationBook_Devnagari
File Size14 MB
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