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: ६२: गजनवी को न्यायप्रियता
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महमूद गजनवी को इतिहास के पृष्ठों पर एक लुटेरा, कर और धर्मान्ध बादशाह के रूप में चित्रित किया गया है । वह एक योग्य शासक भी था। सियासतनामा ग्रन्थ में उसके जीवन की घटना उपलब्ध होती है।
एक बार एक गरीब किसान ने महमूद से निवेदन किया कि बादशाह प्रवर ! आपको सेना का कोई उच्च अधिकारी प्रतिदिन मेरो झोंपड़ी पर आता है और रात भर मेरी पत्नी के साथ दुराचार करता है। जब मैं विरोध करता हूँ तब वह मुझे मारने की धमकी देता है।
महमूद ने सुना । उसके आश्चर्य का पार न रहा। सेना का अधिकारी और फिर ऐसा निकृष्ट कार्य । उसने किसान से पूछा -- क्या तुम्हारी पत्नी बहुत ही सुन्दर
किसान ने कहा-मेरे आस-पास के पड़ोसी कहते हैं कि ऐसी सुन्दरो कहीं नहीं है ।
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बोलती तसवीरें
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