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प्रेम की परीक्षा ७७
अमात्य ने कहा- राजन् ! आपश्री का कथन पूर्ण सत्य है । यह कभी भी संभव नहीं है, पर सामान्य लोगों में तीक्ष्ण बुद्धि का अभाव होता है जिससे वे सही सत्य तथ्य को नहीं पहचान पाते । यदि आपश्री आदेश दें तो मैं परीक्षा कर बता सकता हूँ कि उस स्त्री का किस पति पर अधिक प्रेम है । राजा ने कहा- जरा परीक्षा कर बताओ ।
ऊषा की लालिमा अभी चमक रही थी, किं अमात्य उन दोनों भाइयों के मकान पर पहुँचा । और कहा- आप दोनों भाइयों का प्र ेम प्रशंसनीय है । और साथ ही आपकी पत्नी का प्रेम भी अपूर्व है । अतः राजा यह जानना चाहता है कि आपकी पत्नी को अपने दोनों पतियों में से एक को पूर्व दिशा में और दूसरे को पश्चिम दिशा में भेजना हो और पुनः सायंकाल बुलाने की बात हो तो वह किसे पूर्व दिशा में और किसे पश्चिम दिशा में भेजना चाहेगी ?
पत्नी ने लघुभ्राता की ओर संकेत करते हुए कहा - मैं इन्हें पश्चिम दिशा में भेजना चाहूँगी और बड़े भ्राता की ओर संकेत करते हुए कहा - मैं इन्हें पूर्व दिशा की ओर भेजना चाहूँगी ।
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