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जीवन के विविध प्रसंग
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नष्ट कर देना, ये सारे आत्म हत्या के तरीके नहीं है । आत्म हत्या का सबसे उत्कृष्ट तरीका है, अपने ही मुह से अपनी प्रशंसा करना । अर्जुन ! तुम अपने मुह से अपनी प्रशंसा करो, बस, तुम्हारी आत्महत्या हो गई। ___ श्रीकृष्ण के मुह से गुरुजनों के वध और आत्म हत्या का अर्थ और विश्लेषण सुनकर सभी विस्मित हो गए।
३ | वशीकरण मंत्र :
एक समय श्रीकृष्ण पाण्डवों के साथ द्वारिका जा रहे थे। रथ द्र तगति से आगे बढ़ रहे थे। श्रीकृष्ण की अग्रमहिषी सत्यभामा और पाण्डवों की पत्नी द्रौपदी दोनों एक रथ में बैठी थीं। सत्यभामा ने द्रौपदी से कहा-बहिन ! मुझे आश्चर्य है कि तू अपने पाँचों पतियों को इतना अधिक प्रसन्न कैसे रखती है ? तेरे पास कौनसा वशीकरण मंत्र है कि सभी तुझ पर मुग्ध रहते हैं ! मेरे तो एक ही पति हैं और उन्हें भी मैं प्रसन्न नहीं रख पातीं।
द्रौपदी ने कहा-बहिन सत्यभामा ! वस्तुतः तुम बहुत भोली हो। मैं तुम्हें वशीकरण मंत्र बताती हूँ । वह यह है--प्रियतम के चरणों में मन, वचन और कर्म से अर्पित हो जाना । जो उन्हें पसन्द हो वही कार्य करना, उनके भोजन करने के पश्चात् भोजन करना, उनके सोने के पश्चात् सोना, वे जो भी बात कहें आदर से उसे सुनना, और भेद भाव न रखना, प्रत्येक बात का उत्तर मधुर वाणी से देना! इससे बढ़कर दूसरा वशीकरण मंत्र नहीं है।
२. (क) पाण्डवचरित्र-देवप्रभसूरि
(ख) महाभारत
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