________________
अमें मोतीना साथिया पूरावीया रे लोल, हे... अमे प्रेमे गौतमने वधावीयाजी रे
मारी....३
मारी....४
आजे आनंदना मोजा उछल्या रे लोल, हे.... गुणगाता मन मोर नाचीयाजी रे
जेना नामे मीठाइ मेवा मलता रे लोल,
हे... वली जापे भव ताप बहु हठताजी रे केवो अवसर अमूलो आवीयो रे लोल, हो... व्हालो भाविकोने बहु भावियोजी रे
मारी....५
मारी...६
ॐ जय गौतम स्वामी, प्रमु जय गौतमस्वामी
(राग-हे शंखेश्वर स्वामी) ॐ जय गौतम स्वामी, प्रभु जय गौतमस्वामी, भक्ति भावसे आरति(२), करते शिरनामी 15
इन्द्रभूति शुभनाम अनुपम, पृथ्वी सुत प्यारे, वीर प्रभुके गणधर(२), लब्धि सब धारे
ॐ.....१
ॐ
heational