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यदि वह अपनी पत्नी को भी देखे, तब वह निर्विकार बन जाता है, क्योंकि उसमें उसे मातृत्व का भान होता है। अतः हम विकार का परित्याग करें। विकार का परित्याग मोक्ष का हेतु है।
विकार का परित्याग मोक्ष का हेतु है
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