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उवातियं - (स्पयाचितम्)
मनौति (गू. मानता) उवायाते -(उपायातः) पहुंचा,
गया । उन्नत्तेति--(उद्वर्तयति) उलट
पुलट करता है। उणजातिएण-(ऊनजातिजेन)
हलकी जाति में पैदा हुए
एतीए -- (एतया) उसके
साथ । एयाऽऽओ -- (अनागतः) इधर
आया हुआ । एवंविहकज - (एवंविधकार्य
सज्जया) इस प्रकार के काम करने में तत्पर
रहनेवाली से | एह - (एतस्य ) इसकी । ओयत्तनि - (अपवर्तते) हटती
असिय-(उच्छूित ) ऊंचा। ऊसियफलिहे - (उच्छ्रित
परिधः ) जिनके द्वार की अर्गला हमेशा ऊंची ही रहती है अर्थात् जिसका गृहद्वार कमी वन्द नहीं होता है ऐसा- दानी।
एकसंकलितयद्वा (एकशृङ्खलिकवद्धाः) जिनके नाम,
अनुकम से लिखे हुए हैं। एगो --(एकतः) एक जगह एडेति-(एडयति) फेंकती
ओलग्गिया- (अक्लगिताः)
आश्रय लिया । ओलंडेनि - (ओलण्डयति)
खडखडाता है । ओसहभेसजेणं-(औषधभैष
जेन) एक द्रव्य से वनी हुई दवाई औषध; और अनेक द्रव्य से बनी हुई दवाई भपज [गूजराती :
'ओसडवेसड']। ओसोवणिं-(अवरवापिनीम् )
निद्रायुक्त कर देने की विद्या ।
एडेसि - (एलसि ) फेंकता है।
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