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(17) अन्य वैयाकरण घरणिहि पडिउ वडह बीउ वित्थरु
लेइ।
सावयधम्म-दोहा.9
हिन्दी अनुवाद धरती पर पड़ा हुआ वट का बीज
विस्तार ले लेता है। हेमचन्द्र धरणिहिं पडिउ वडहो बीउ वित्थरु
लेइ।
सावयधम्म दोहा.15
(18) अन्य वैयाकरण तेण कप्पयरु मूलहो डिउ । हिन्दी अनुवाद उसके द्वारा कल्पतरु मूल से काटा
गया। हेमचन्द्र तेण कप्पयरु मूलहे खां डिउ ।
सावयधम्म-दोहा.8
(19) अन्य वैयाकरण बहुत्तई संपयई कोइ लाह ण अस्थि ।
हिन्दी अनुवाद बहुत सम्पदा से कोई लाभ नहीं है । हेमचन्द्र बहुत्ताए संपयाए कोइ लाह ण अस्थि ।
अपभ्रंश अभ्यास सौरभ ]
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