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एस धम्मो सनंतनो
इल्म इस कत्ल का! और जिसके लिए हो गया है, जिसकी वजह से हो गया है, उसको भर पता नहीं है।
बू-ए-गुल. फूलों की सुगंध।
रौशनी, रंग, नग्मा, सबा सुगंधित हवा।
हर हंसी चीज है
मेरे जज्बात के कत्ल से आशना। हर सुंदर चीज को पता है कि मेरी भावना मर गयी।
सिर्फ तुमको नहीं
इल्म इस कत्ल का! शायद पता भी न हो। जिसको तुमने चाहा था, उसे पता भी न हो। इस जगत में लोगों को अपना पता नहीं, दूसरों का पता कैसे हो? लोग बेहोश.हैं। लोग चले जा रहे हैं नींद में, तंद्रा में। कौन आ गया था, सपने में थोड़ी देर छांव डालकर चला गया, किसको हिसाब है?
तुम शायद उस स्त्री के सामने पड़ जाओ, वह तुम्हें पहचान भी न सके। शायद पूछे, आप कौन हैं! शायद पूछे कि चेहरा कुछ पहचाना सा मालूम पड़ता है, जैसे कहीं देखा हो! ___ छोड़ो। गलत से प्रेम करोगे, दुख पाओगे। व्यर्थ से प्रेम करोगे, दुख पाओगे। और फिर तुम्हारे प्रेम करने का ढंग भी बड़ा व्यर्थ और गलत है। तुमने दया मांगी और चूके। अब परमात्मा के द्वार पर खड़े हो। अब बहुत हो गया यह।
साकी, तेरी रातें बिछौने के हंगामों से गुजरी हैं
अब तो सुबह करीब है, अल्लाह का नाम ले। अब बहुत हो गया। अब अल्लाह का नाम लो। टूटी-फूटी वीणा पर ही गुनगुनाओ। उसके नाम में जादू है। उसके नाम के संस्पर्श से वीणा सुधर जाएगी।
और जिसमें तुम डूबे जा रहे हो नाहक, चुल्लूभर पानी में डूबे जा रहे हो! वहां कुछ था नहीं डूबने जैसा। डूबना हो, तो सागर तलाशो।
तुझसे ऐ दरियाए-जिंदगी, पार कोई भी पा न सका
कैसे-कैसे डूब गए गो घुटनों-घुटनों पानी है। बड़े-बड़े यहां डूबे जा रहे हैं—गो घुटनों-घुटनों पानी है। मामला ही क्या था? किसी स्त्री की आंख अच्छी लग गयी-घुटनों-घुटनों पानी है! किसी के बाल बड़े प्यारे थे-घुटनों-घुटनों पानी है! किसी की नाक बड़ी लंबी थी, तोते जैसी थी-घुटनों-घुटनों पानी है! इसमें ही डूब गए! जागो।
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