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एस धम्मो सनंतनो
सुबह से सांझ तक, उठते-बैठते तर्क और तर्क। संन्यस्त होने के पहले बड़े झगडैल थे। संन्यस्त होने के बाद झगड़ा तो बंद हो गया, लेकिन झगड़े ने नया रूप ले लिया। मन बड़ा चालबाज है। अब गाली-गलौज तो नहीं करते थे, अब गाली-गलौज बड़ी तार्किक हो गयी थी। अब झगड़ा किसी का सिर फोड़कर नहीं करते थे, लेकिन किसी का सिद्धांत तोड़कर।
वह भी सिर फोड़ना ही है।
अब दूसरे को नीचा दिखाते थे-शारीरिक बल से नहीं, मानसिक बल से-लेकिन दूसरे को नीचा दिखाना जारी था। ___मन से जागना, मन बड़ा होशियार है। एक तरफ से हटो, दूसरी तरफ उलझा देता है। पहले झगडैल थे, अदालतों में खड़े रहते थे। फिर ऊब गए अदालतों से, ऊब गए झगड़ों ने, संन्यस्त हो गए। तब नए विवाद खड़े हो गए। नए झगड़े के ढंग सीख लिए। अब झगड़ा और भी सभ्य और सुसंगत हो गया। अब अदालत में जाने की जरूरत भी न रही। अब उठते-बैठते झगड़े की तैयारी थी। बोलो कि झगड़ा हो जाए। तुम जो बोले, उसी पर वह विवाद करने को तत्पर थे। .
ऐसे विवाद उनकी श्वास-श्वास में भर गया। शास्त्रार्थ उनकी चर्या हो गयी। तर्क में कुशल थे, पर ध्यान से अपरिचित।
तर्क में अगर तुम कुशल हो और ध्यान से अपरिचित, तो तुम अपनी आत्महत्या कर लोगे। तर्क खतरनाक है, छोटे बच्चे के हाथ में तलवार है। कि छोटे बच्चे के हाथ में जहर की प्याली है। हां, कुशल हाथों में तर्क हो, तो जैसे वैद्य के हाथ में जहर की प्याली हो तो औषधि बन जाए। हां, कुशल हाथों में तलवार हो तो जीवन का रक्षण बन सकती है। लेकिन छोटे बच्चे को दे दी तलवार, तो या तो किसी को काटेगा और किसी को काटेगा वह तो ठीक है, आज नहीं कल अपने को भी काट लेगा। जहर औषधि बन सकती है कुशल हाथों में और अमृत भी जहर बन सकता है अकुशल हाथों में।
जिसने ध्यान को जाना है, उसके हाथ में तर्क तो बड़ी कुशल बात हो जाती है। क्योंकि वह लोगों को तर्क के सहारे ध्यान की तरफ उठाने लगता है। जिसने ध्यान को नहीं जाना, उसके हाथ में तर्क बड़ी खतरनाक चीज है, वह ध्यान की तरफ जाते लोगों को खींच-खींचकर मन में वापस ले आता है।
तर्क में कुशल थे और ध्यान से अपरिचित।
छुद्र से कुशल, छुद्र में कुशल। सूक्ष्म में, विराट में उनकी अकुशलता थी। हर बात पर विवाद कर सकते थे, और हर बात पर लोगों को हरा सकते थे। हर उपाय से हरा सकते थे। लेकिन अभी खुद की जीत भीतर हुई न थी। अभी आत्मविजेता न
बने थे।
___ इसे समझना। तुम तभी तक दूसरों को जीतने में उत्सुक होते हो, जब तक तुमने