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आगम प्रकाशन परिचय
189
क्र.
वि.सं. (आ.) पृष्ठ (कद)
438 (B)
2067 (2) (संवर्धित)
प्रकाशन नाम एवं परिचय प्रकाशक {ग्रंथमाला) संपादक, संशोधक आदि हरिभद्रसूरिजी और वीराचार्यजी कृत
विजयजी (#) टीका} {दे.ना.} [T, S] {1167, 1168,
1169) 1017 पिंडनियुक्ति ग्रंथनो अनुवाद दिव्यदर्शन ट्रस्ट, (P) संपा.-हीरविजयजी, पूर्व
{पिंड.सूत्र सह भाष्य, हंससागरसूरिजी शासनकंटकोद्धारकसूरि संपा.-हंससागरसूरि कृत (गु.) अनु., भाष्यानु., मलय.
जी जैन ज्ञानमंदिर टीकानु.} {गु., दे.ना.} [T, S] {1167,
1168, 1175, 1180, 1182} 1018| पिण्डनियुक्तिः (पिंड.सूत्र सह भाष्य, दिव्यदर्शन ट्रस्ट संशो., संपा.-करुणादृष्टि वीरगणिजी कृत टीका) (दे.ना.) [T,
विजयजी (2) s] {1167, 1168, 1170)
2068 (अ.) 356 (B)
1954 (1)
252 (C)
1966 (अ.) 85 (D)
34. चतु:शरणप्रकीर्णकसूत्र (1019-1027) 1019 आत्महितोपदेश {चतुः.प्रकी.सूत्र सह बालाभाई खुशाल हाजी अप्रदर्शित
बालाभाई खुशाल हाजी (#) कृत (गु.) अनु., अभय. कृत (प्रा.) आगम अष्टोत्तरी सह अज्ञात कर्तृक बा.बो.
आदि) (दे.ना.} {845, 1186, 1198) 1020 चैत्यवंदन चोवीसी अर्थ सहित तथा भीमसिंह माणेक श्रावक संपा..भीमसिंह माणेक (2)
अध्यात्मबावनी अने ज्ञानपचीसीना दोहा अने अर्थ साथे चउसरण पयन्नो {चतुः प्रकी.सूत्र सह बालाभाई खुशाल हाजी (#) कृत (गु.) अनु. एवं चैत्यवंदन चोवीसी सार्थ आदि}
{दे.ना.} {1186, 1198} 1021 चउसरणपयन्ना मूलार्थसहितं हीरालाल हंसराज पंडित अप्रदर्शित
{चतुः प्रकी.सूत्र सह अजितसागरसूरिजी (#) कृत (गु.)
अनु.} {दे.ना.} {1186, 1200) 1022 THE ADYAR LIBRARY
Adyar Library & संपा.-V.Raghavan Dr., BULLETIN (MAHAVIRA
Research Centre
Radha Burnier, JAYANTI VOLUME)
K.Kunjunni Raja {चतुः प्रकी.सूत्र सह के. आर.नोर्मन कृत (अं.) अनु. और आगम आदि संबंधित विविध कर्तृक लेखसंग्रह) Volume xxxVIII (रो., दे.ना.) {1186, 1202}
1994 (अ.) 18 (P)
2030 (अ.) 258 (C)
1023 चतुःशरण-प्रकीर्णकम् {चतुः.प्रकी.सूत्र हर्षपुष्पामृत जैन ग्रंथमाला संशो., संपा.-जिनेन्द्रसूरि 2041 (1) 54 (D)
सह सोमसुंदरसूरिजी कृत अवचूर्णि) {ग्रं. 139)
{दे.ना.} {1186, 1190) 1024 45 आगमसुत्ताणि [चउसरण पइण्णयं] आगम श्रुत प्रकाशन संशो., संपा.-दीपरत्नसागरजी |2052 (अ.) 12 (C)
{चतुः प्रकी.सूत्र मूल} {दे.ना., गु.) {1186}