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पाठ
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विशेषण शब्द :
संख्यावाचक . (क) एक एगो = एक (पु) एगो छत्तो पढइ = एक छात्र पढ़ता है। एगा = एक (स्त्री) एगा बालिआ गच्छइ = एक बालिका जाती है।
एग = एक (नपुं) इदं एगं फलं अस्थि = यह एक फल है। . नि. ६७ : एक शब्द के रूप सातों विभक्तियों में पुल्लिंग, स्त्रीलिंग एवम् नपुंसकं...
लिंग के अकारान्त शब्दों के समान चलेंगे। विशेष्य शब्द के अनुरूप ही एक शब्द का प्रयोग होगा। यथा :एगस्स पुरिसस्स इदं घरं अस्थि = एक आदमी का यह घर है। ..... एगेण बालएण सह अहं गच्छामि = एक बालक के साथ मैं जाता हूँ। एगे खेत्ते वारिं अस्थि = एक खेत में पानी है। ....
(ख) दो नि. ६८ : एक शब्द को छोड़कर सभी संख्यावाची शब्द प्राकृत में तीनों लिंगों में :
समान होते हैं। यथा :(पु) दोण्णि बालआ पढन्ति = दो बालक पढ़ते हैं। (स्त्री) दोण्णि जुवईओ गच्छन्ति = दो युवतियाँ जाती हैं। (नपुं) दोण्णि फलाणि सन्ति = दो फल हैं।
(ग) दो से अठारह एवं कई . नि. ६९ : दो (२) से लेकर अठारह (१८) संख्या तक के शब्द' तथा कई (कितने) . शब्द सभी विभक्तियों में बहुवचन में ही प्रयुक्त होते हैं :
दो . एगारह = ग्यारह तिण्णि
तीन बारह = बारह
चार तेरह = '. तेरह = पाँच चउद्दह = चौदह = छह पण्णरह = पन्द्रह
दोण्णि
सोलह =
सोलह
आठ
= =
नौ दस
सत्तरह अट्ठारह = कइ =
सत्तरह अठारह कितने
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प्राकृत स्वयं-शिक्षक