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________________ जैसा कि पहले कहा जा चुका है, इस अध्याय में पूर्व भारत [ बिहार, बंगाल और उड़ीसा ] के तीर्थों को सम्मिलित किया गया है। अब इन प्रान्तों के तीर्थों का अलग-अलग वर्णक्रमानुसार विवरण प्रस्तुत है [ अ ] बिहार १ - कुण्डग्राम २ - कोटिशिला ३ चम्पापुरी २४ - पाटलिपुत्र ५ - पावापुरी ६ - मिथिला ७ - वैभारगिरि a--- सम्मेतशिखर अ- बिहार १ - कुण्डग्राम २ - कोटिशिला ३ – चम्पापुरी ४ - पाटलिपुत्र अध्याय - ६ पूर्व भारत Jain Education International [ब] बंगाल १ - कोटिभूमि २ - पुण्ड्र पर्वत पूर्व भारत [स] उड़ीसा १ – कलिङ्ग देश २- माहेन्द्र पर्वत ५ - पावापुरी ६ - मिथिला ७ - वैभारगिरि ८ - सम्मेतशिखर १. कुण्डग्राम जिनप्रभसूरि ने कल्पप्रदीप के चतुरशीतिमहातीर्थनामसंग्रहकल्प के अन्तर्गत महावीर स्वामी के जन्मस्थान कुण्डग्राम का भी उल्लेख किया है और यहाँ एक जिनालय होने की बात कही है । For Private & Personal Use Only www.jainelibrary.org
SR No.002075
Book TitleJain Tirthon ka Aetihasik Adhyayana
Original Sutra AuthorN/A
AuthorShivprasad
PublisherParshwanath Shodhpith Varanasi
Publication Year1991
Total Pages390
LanguageHindi
ClassificationBook_Devnagari, Tirth, & History
File Size14 MB
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