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टिप्पणियां
स० तुमे, तुमए, तुमाइ, तइ, तए, तुम्मि, तुसु, तुवेसु, तुमेसु, तुहेसु, तुब्भेसु,
तुम्मि , तुमम्मि, तुहम्मि, तुब्भम्मि, तुम्हेसु, तुझेसु, तुवसु, तुमसु, तुहसु, तुज्झम्मि, तुम्हम्मि
तुब्भसु, तुम्हसु, तुज्झसु, तुब्भासु,
तुम्हासु, तुज्झासु
अस्मद् सर्वनाम प्र० मि, अम्मि, अम्हि, हं, अलं, अहयं अम्ह, अम्हे, अहो, मो, वयं, भे द्वि० णे, णं, मि, अम्मि, अम्ह, मम्ह, में, मम, अम्हे, अम्हो, अम्ह, णे
मिम, अहं तृ० मि, मे, ममं, ममए, ममाइ, मइ, मए, अम्हेहि, अम्हाहि, अम्ह, अम्हे, णे __ मयाइ, ण पं० मइत्तो, ममत्तो, महत्तो, मज्झत्तो, ; ममत्तो, अम्हत्तो, ममाहितो,अम्हाहितो, मत्तो
ममासुंतो, अम्हासुंतो, ममेसुंतो,मम्हेसुंतो १० से, मइ, मम, मह, महं, मज्झ, मज्झं, णे, णो, मज्झ, अम्ह,अम्हं, अम्हे, अम्हो, अम्ह, अम्हं
. अम्हाण, ममाण, महाण, मज्झाण,
अम्हाणं, ममाणं, महाणं, मज्झाणं स० मि, मइ, ममाइ, मए, मे, अम्हम्मि, अम्हेसु, ममेसु, महेसु, मज्झेसु, अम्हसु, ममम्मि, महम्मि, भज्झम्मि
ममसु. महसु, मज्झसु अम्हासु। ३.११८-१२३ इन सूत्रों में संख्यावाचक शब्दों का रूप विचार है । वह निम्न के अनुसार होता है :
संख्यावाचक 'द्वि' दुवे, दोपिण, दुण्णि, वेण्णि, विणि (प्र०, द्वि.); दोहि, बोहिं (तृ०); दोहितो, वेहितो (पं०); दोण्हं, वेण्हं (ष); दोसु, वेसु (स)
संख्यावाचक 'त्रि' तिण्णि (प्र०वि०); तीहि (तृ); तीहितो (पं०); तिण्हं (ष); तीसु (स)
संख्यावाचक 'चतुर' चत्तारो, चउरो, चत्तारि (प्र०, द्वि० ); चउहि, चऊहि ( ४ ); च उहितो, च ऊहिंतो (पं); च ऊण्हं (ष ); च उसु, चऊसु ( स )
३.१२४ यह अतिदेश सूत्र है। अब तक कहे हुए रूपों के अलावा होने वाले अन्य रूप अकारान्त शब्द के समान होते हैं। इस अतिदेश का अधिक स्पष्टीकरण वृत्ति में है।
३.१२५ जस् 'णो-णो आदेश के लिए सूत्र ३.२२-२३ देखिए ।
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