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। प्राच्यसाहित्य पुन:प्रकाशन श्रेणि ग्रन्थांक-६
दाक्षिण्यचिह्नाङ श्रीमद् उद्योतनसूरिविरचिता कुवलयमाला
अने श्रीमद रत्नप्रमसूरिविरचित कुवलयमाला कथासंक्षेप
-: शुभाशीर्वाद :व्याख्यानवाचस्पति तपागच्छाधिपति परमशासनप्रभावक स्व. पहज्यपादाचार्यदेव श्रीमद् ।
विजयरामचन्द्रसूरीश्वरजी महाराजा
-: प्रेरक :पू. आचार्यदेव श्रीपूर्णचन्द्रसूरीश्वरजी महाराज पू. आचार्यदेव श्रीमुक्तिप्रभसूरीश्वरजी महाराज
-: पुन:प्रकाशक :श्री सिद्धिगिरि चातुर्मास - उपधानतप आराधक समिति
महाराष्ट्र भुवन धर्मशाला, तलेटी रोड, - पालिताणा - (सौराष्ट्र)
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