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जसहरचरिउ
[३. ३६. १३अण्णु वि पई अण्हाणु किं दूसिउ जिंदावयणु मुणिंदहो भासिउ । जणि अण्हाणु पउत्तु कुणंतहँ किं पुणु रिसिहिं महातववंतह । 'अयमलु सलिलि सुज्ज्ञइ कप्पडु देहुँ कि सुज्झइ दुक्कियलंपडु । माणुसु पुणु थिप्पइ वसचोप्पडु लोहमोहमायामयसुक्कडु । धुप्पइ धुप्पइ पुणु वि अचोक्खउ णयरोघसरपसरसारिक्खउ । फुल्लमालचंदणधोयंबरु
तोम सुद्ध जा दूरि कलेवरु । ___ घत्ता-सब्वंगु पवित्तु महारिसिहि पत्थिव दुद्धरतवधरहँ ॥
लालारसु लग्गउ तणुमलु वि हरइ रोउ रोयाउरहँ ॥३६॥
दुवई-जाणं पायधूलिलेवेण वि णासइ पावपंकओ ।।
ताणमिसीणमीस' पणविजसु छडुहि मच्छरो कओ ॥१॥ आमोसहि पविउलखेलोसहि जल्लोसहि विप्पोसहि णंसहि । अहयमहाणसद्धि सम्वोसहि एयहोणउ डसंति अंगई अहि । एयहो हरि करि पुणु वि ण लग्गहिं भिल्लपुलिंदई पहलवलग्गहि । जइ रूसइ तो पाडइ सक्कु वि मेरुमहीहरु सउँ तिल्लोक्कु वि । तेयरिद्धिपज्जालियसिट्ठिहि को किर थक्कइ एयहो दिहिहि । पर किं बलि वि खलाह ण रूसइ पणवंतहँ सजणहँ ण तूसइ। अइमझत्थु महत्थु महाजसु जीवियमरणि मुणिंदु समंजसु । एयहो अरिणरसत्थइँ चित्तइँ लैइ ताइँ जि हवंति सयवत्त । इय एवडुहो कित्तिणिहाणहो करु पसरिजइ केम किवाणहो । सीहहँ सद्दलहँ वि अणुग्गहु जेण कियउ जिणधम्मपरिग्गहु । अहवा हउँ किर बोल्लमि सावउ पेक्खु पेक्खु मुंणिवरहँ पहावउ । परमारणसीलइँ लल्लक
सुणह ई पंचसय ई पई मुक्कई । मुणिवरपायमूलि लोलंतई चललंगूलदंडचीलंतई। पेक्खु पेक्खु मा मुज्झहि मोहिं वंदहि साहु म डज्झहि कोहिं । घत्ता-णामेण सुदत्तु गुणोह णिहि होतउ राउ कलिंगवइ ।
कुसुमालधरहु बंधहुँ वहहु णिविण्णउ इहु हुवउ जइ ॥३७||
३८ दुवई-णियणायाहियारि थिय दियवरणियरेण विणिउत्तओ।
__तक्करपाणिपायसिरखंडणदंडणविहि विरत्तओ ॥१।। ६. AP अयमयसलिलि। ७. ST omit this line. ८. ST omit this line. ९. ST
ता सुंधुय । ३७. १. P जाणउं; A जिणम । २. सीसु । ३. AST पविमल । ४. ST omit this line. ५. ST ___ चंदक्कु वि सक्कु वि तेलुक्कु बि । ६. ST लग्गई ताई। ७. ST पच्चक्खु । ८. ST लोलंतई।
९. ST बंधणवहेण । ३८. १. A पउत्तउ ।
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