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22 - तनाव-टेन्शन (Stress) (४) बायोफीडबेक : क्रमशः शिथिलीकरण (प्रोग्रेसिव रिलेक्सेशन),
हास्यचिकित्सा (लाफ्टर थेरेपी), प्रेक्षाध्यान, विपश्यना, सेल्फहिप्नोटिज़म, सिस्टेमेटिक डिसेन्सिटाइझेशन इत्यादि से भी
अधिक लाभ होता है, यह एक वैज्ञानिक सत्य है । (५) संगीत चिकित्सा : मन की शांति, शिथिलीकरण, आनंद की
अनुभूति और तनाव से मुक्ति के लिए संगीत (सुनना या गाना
या वाद्य बजाना) से बहेतर क्या हो सकता है ? (६) आहार में योग्य बदलाव : पौष्टिक आहार, प्रोटीनयुक्त आहार,
फलफलादि, योग्य नास्ता और आहार में रेसायुक्त पदार्थों का अधिक उपयोग तनाव (स्ट्रेस) के सामने राहत देता है। प्रजीवको (विटामिन्स) और एन्टिओक्सिडन्ट द्रव्य योग्य मात्रा में लेने से निश्चित ही लाभ होता है। चर्बीयुक्त, तीखें और अति गर्मउष्म आहार या फास्टफूड से हानि होती है। "जैसा आहार
वैसी सोच" यह कहावत यहाँ यथार्थ है। (७) आवश्यकतानुसार डोक्टर या अन्य की सहाय : प्रोफेशनल
व्यक्ति की सहाय ले सकते है । स्ट्रेस को दूर करने के लिए विभिन्न कोर्स किये जा सकते है, जैसे कि जीवन जीने की कला (आर्ट ऑफ लिविंग), सिद्ध समाधियोग और लेंडमार्क फोरम
इत्यादि भी अच्छा लाभ पहुँचा सकते है । स्वउपचार :
इस के अलावा यहां निर्दिष्ट कई दैनिक उपयोगी उपाय भी आजमायें जा सकते है । यह उपायों में अन्य व्यक्ति की सहाय आवश्यक नहीं है । इसलिए १०-१५ दिनों की छुट्टी लेकर, हिलस्टेशन पर जाने की जरूरत नहीं हैं, अधिक खर्च की भी जरूरत नहीं है ।
• चलने फिरने या बाईक पर घूमने जाओ । • बागबानी (गार्डनिंग) करो या बाग में घूमने जाओ ।
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