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दसवाँ पाठ तुम्ह, अम्ह, इम और एअ के रूप :
तुम्ह ( युष्मद् ) = तुम ( तीनों लिङ्ग) एकवचन
बहुवचन प्र० तुं, 'तुम, तं ( त्वम् ) तुम्हे, तुन्भे ( यूयम् )
,, ,, ,, तुमे, तुए
( त्वाम् ), वो (वः) तुम्हे, तुब्भे ( युष्मान् ) तृ० ते, तइ ( त्वया ) तुम्हेहि, तुम्हेहिं, तुम्हेहि,
तुब्भेहि, तुब्भेहिं, तुब्भेहिँ
(युष्माभिः) तुह, तुज्झ, तुव, तुम, तुमाण, तुमाणं ( युष्माकम् ) ते, तुव, तुहं
तुम्हाण, तुम्हाणं ( तव, ते तुभ्यम् ) तुज्झाण, तुज्झाणं
तुम्हाहँ, वो ( वः) पं० तुवत्तो, तुवाओ, तुवाउ तुम्हत्तो, तुम्हाओ, तुम्हाउ, ( त्वत् )
तुम्हाहितो, तुम्हेहितो, तुमत्तो, तुमाओ, तुमाउ तुम्हासुंतो, तुम्हेसुंतो तुज्झत्तो तुज्झाओ तुज्झाउ (युष्मत् ) तुहत्तो, तुहाओ, तुहाउ,
तुम्हत्तो, तुम्हाओ, तुम्हाउ ष०
चतुर्थी के समान होते है। १. देखिए हे. पा० व्या० ८।३।६० से १०४ तक।
च.
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