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________________ ३८९ अश्वकर्णकरणके प्रथम समयसम्बन्धी प्ररूपणा आनै तितनी वर्गणानिके अविभागप्रतिच्छेद च्यारयो कषायनिके परस्पर समान हो हैं। कैसे ? सो कहिए है क्रोधादिककी प्रथम स्पर्धककी प्रथम वर्गणाः द्वितोय तृतीयादि स्पर्धककी प्रथम वर्गंणाके अविभाग प्रतिच्छेद क्रमतें दूणे तिगुणे इत्यादि होइ अपना अपना कांडकका जेता प्रमाण तितना स्थान भए जो स्पर्धक ताकी प्रथम वर्गणाके अविभागप्रतिच्छेद च्यारयो कषायनिके समान हो हैं । बहुरि तहातै ऊपरि प्रथम स्पर्धककी प्रथम वर्गणाके जेते अविभागप्रतिच्छेद तितने तितने एक एक स्पर्धकको प्रथम वर्गणाविषं बंधते अपने अपने कांडकप्रमाण स्थान भए जो स्पर्धक ताकी प्रथम वर्गणाके अविभागप्रतिच्छेद समान हो हैं। या प्रकार अपना अपना कांडकमात्र स्पर्धक भए च्यारयो कषायनिकी वर्गणाके अविभागप्रतिच्छेदनिकी समानता होते नाना कांडकप्रमाण वर्गणानिविषै समानता हो है। अंकसंदृष्टिकरि जैसे क्रोध मान माया लोभके प्रथम स्पर्धककी प्रथम वर्गणाके अविभागप्रतिच्छेद क्रमतै चौरासो बहत्तरि तरेसठि छप्पन हैं । बहुरि ताके ऊपरि एक एक स्पर्धककी प्रथम वर्गणाविषै तितने-तितने बंधते अपना कांडकमात्र छह सात आठ नव स्पर्धक भए तहां प्रथम वर्गणाके अविभाग प्रतिच्छेद च्यारयो कषायनिके परस्पर समान पांचसै च्यारि हैं । बहुरि ताके ऊपरि तैसे ही बधती होते अपने कांडकमात्र स्पर्धक भए तहां प्रथम वर्गणाके अविभागप्रतिच्छेद च्यारयो कषायनिके समान एक हजार आठ हो हैं । बहुरि ताके ऊपरि तैसैं ही बधती होतें अपने कांडकमात्र स्थान भए तहां प्रथम वर्गणाके अविभागप्रतिच्छेद च्यारयो कषायनिके समान पन्द्रहसौ बारह हो हैं ऐसैं अपना अपना कांडकका भाग अपना अपना स्पर्धक प्रमाणकौं दीए नाना कांडक का प्रमाण तीन पाया सो तीन ही स्पर्धकनिकी प्रथम वर्गणा परस्पर समानरूप हैं और वर्गणानिका समानरूप नाही है। लाभ क्रोध १५१२ मान १५१२ माया १५१२ १५१२ १०९२ १०८० १००८ १०७१ १००८ ०० १००८ ५८८ ५७६ ५०४ ५०४ ४२० ३३६ २५२ १६८ ८४ ५६७ ५०४ ४४१ ३७८ ३१५ २५२ १८९ १२६ ५६० ५०४ ४४८ ३९२ ४३२ ३६० २८८ २१६ १४४ ७२ २८० २२४ ११२ Jain Education International For Private & Personal Use Only www.jainelibrary.org
SR No.001606
Book TitleLabdhisar
Original Sutra AuthorN/A
AuthorNemichandra Shastri
PublisherParamshrut Prabhavak Mandal
Publication Year1980
Total Pages744
LanguagePrakrit, Sanskrit
ClassificationBook_Devnagari, Religion, Karma, & Samyaktva
File Size15 MB
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