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जयधवलासहिदे कसायपाहुडे
[ हिदिविहन्ती ३
कालस्स साहारणत्तादो । एदं कुदो णव्वदे ? तिष्णिवड्डि-तिष्णिहाणि - अवट्ठाणाणं कालो जह० एगसमओ, उक्क० आवलियाए असंखे ० भागमे तो ति महाबंधसुत्रोण भणिदत्त दो । ण त आवलि० असंखे० भागमेत्तेण अवत्तव्वस्स संचओ अस्थि, जहण्णुकस्सेण एगसमयसंचिदत्तादो ।
* असंखेज्जभागहाणिकम्मंसिया असंखेज्जगुणा । ६ ५८०. कुदो,
सगअसंखे ० भागेणूणसम्मत्त सम्मामिच्छत्तसंतकम्मियाणं
सव्वेसि पि गहणादो ।
*
तारबंधणं सव्वत्थोवा अवत्तव्वकम्मंसिया ।
$ ५८१. कुदो ? अनंताणुबंधिचउक्कं विसंजोइय मिच्छत्तं पडिवजमाणजीवाणं गहणादो ।
* संखेञ्जगुणहाणिकम्मंसिया संखेज्जगुणा ।
$ ५८२. कुदो ? संखेज्जसमयसंचिदत्तादो । अवत्तव्यविहत्तिया एगसमयसंचिदा ए समय संचिदअसंखे० गुणहाणिकम्मंस्सिया सरिसा । दंसणमोहणीयं खवेमाणसंखेज्जजीवेहि ऊत्तस्स अविवक्खाए असंखेज्जगुणहाणिट्ठिदिकंडयाणं पदणवारा जेण संखेज्जसहस्समेत्ता तेण तत्थ संचिदजीवा वि संखे० गुणा त्ति सिद्धं । एगसमएण
समाधान- नहीं, क्योंकि सम्यक्त्व को प्राप्त होनेवाले सभी के यह काल साधारण है । शंका - यह किस प्रमाणसे जाना जाता है ?
समाधान -तीन वृद्धि, तीन हानि और अवस्थानका जघन्य काल एक समय और उत्कृष्ट काल आवलिके असंख्यातवें भागप्रमाण है इस प्रकार महाबन्धके सूत्र में कहा है, इससे जाना जाता है । और आवलिके असंख्यातवें भाग कालके द्वारा अवक्तव्यविभक्तिवालोंका संचय नहीं होता, क्योंकि उनके संचित होनेका जघन्य और उत्कृष्ट काल एक समय है ।
* असंख्यातभागहानिकर्मवाले जीव असंख्यातगुणे हैं ।
५८०. क्योंकि जितने सम्यक्त्व और सम्यग्मिथ्यात्वसत्कर्मवाले जीव हैं उनमें से असंख्यातवें भागप्रमाण जीवोंको कम करके शेष सभी सम्यक्त्व और सम्यग्मिथ्यात्व सत्कर्मवाले जीवोंका ग्रहण किया है ।
अनन्तानुबन्धीके अवक्तव्यकर्मवाले जीव सबसे थोड़े हैं ।
६५८१. क्योंकि यहां अनन्तानुबन्धीचतुष्ककी विसंयोजना करके मिथ्यात्वको प्राप्त होनेवाले जीवोंका ग्रहण किया है ।
असंख्यातगुणहानिकर्म वाले जीव संख्यातगुणे हैं ।
५८२. क्योंकि उनके संचित होनेका काल संख्यात समय है । अवक्तव्यविभक्तिवाले जीव एक समयके द्वारा संचित होते हैं जो एक समय में संचित हुए असंख्यातगुणहानिवालोंके समान हैं । दर्शनमोहनीयकी क्षपणा करनेवाले संख्यात जीवोंसे रहितपनेकी विवक्षा न करनेपर चूंकि असंख्यातगुणहानिस्थितिकाण्डकोंके पतन होने के बार संख्यात हजार हैं, इसलिये वहां संचित हुए जीव भी संख्यातगुणे हैं यह सिद्ध हुआ । इसका यह भावार्थ है कि एक समय में
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