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________________ अध्यात्म प्रवचन : भाग तृतीय ३. दार्शनिक इन समस्याओं पर चलते-फिरते विचार नहीं करता, बल्कि दृढ़तापूर्वक कटिबद्ध होकर अन्त तक विचार करता है । १३६ ४. दार्शनिक विचार की विधि पूर्ण रूप से निष्पक्ष और तर्क-संगत है, इसलिए दर्शन किसी प्रकार की मान्यताओं को लेकर सत्य शोधन के मार्ग पर अग्रसर नहीं होता । विज्ञानों की साधारण मान्यताओं को भी दर्शन आलोचना करता है । ५. दर्शन विज्ञान की भाँति विश्व को अनेक भागों में बाँटकर उनका अलग-अलग अनुशीलन नहीं करता । दर्शन विश्व को अपनी सम्पूर्णता में समझने की चेष्टा करता है । अतः दार्शनिक दृष्टिकोण समन्वयात्मक है, और विज्ञानों का समीकरण उसका एक मुख्य कार्य हैं । ६. दर्शन को विश्व की मूल समस्याओं से सम्बन्धित प्रश्नों का उत्तर न समझना चाहिए, बल्कि उन समस्याओं पर विचार करने की तर्क-संगत विधि और उन्हें हल करने का दृढ़ प्रयास है । इन निर्णयों के आधार पर दर्शन की परिभाषा इस प्रकार की जा सकती है - " दर्शन मनुष्य जीवन और विश्व की मूल समस्याओं पर तर्कमूलक विचार और तत्सम्बन्धी ज्ञान राशि के समीकरण द्वारा सम्पूर्ण सत्य का यथार्थ ज्ञान-लाभ करने का प्रयत्न है ।' भारतीय दर्शन में दर्शन का अर्थ है - दृष्टि । जो दृष्टि सत्य को ग्रहण करती है, अथवा सत्य का साक्षात्कार करती है, उसे दर्शन कहा जाता है । दर्शन का विषय समग्र विश्व, समस्त चेतना और समस्त पदार्थ होते हैं । दर्शन की परिधि में सभी कुछ समाहित किया जा सकता है । दर्शन का प्रभाव : मानव जीवन पर दर्शन का प्रभाव कैसा पड़ता है ? यह भी एक प्रश्न है ? जिसके सम्बन्ध में अनेक विद्वानों ने अपने विचार अभिव्यक्त किए हैं। जब हम दर्शन को जीवन की आलोचना स्वीकार कर लेते हैं, तब यह आवश्यक हो जाता है, कि उसका प्रभाव मनुष्य जीवन पर अवश्य पड़ता है । इस जगती तल पर शायद ही कोई ऐसा मनुष्य हो, जिसका जीवन दर्शन से प्रभावित न हो । यदि विचार को मनुष्य जीवन की विशेषता स्वीकार किया जाता है, तो यह मान लेने में किसी प्रकार की आपत्ति नहीं हो सकती, १ पाश्चात्य दर्शन दर्पण, पृष्ठ १६ । Jain Education International For Private & Personal Use Only www.jainelibrary.org
SR No.001339
Book TitleAdhyatma Pravachana Part 3
Original Sutra AuthorN/A
AuthorAmarmuni
PublisherSanmati Gyan Pith Agra
Publication Year1992
Total Pages194
LanguageHindi
ClassificationBook_Devnagari, Discourse, & Spiritual
File Size10 MB
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