Book Title: Pratihar kal me Pujit Rajasthan ke Kuch Apradhan Devi Devta
Author(s): Dashrath Sharma
Publisher: Z_Agarchand_Nahta_Abhinandan_Granth_Part_2_012043.pdf

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Page 6
________________ सास्यालो BANASXIETYAKAMRIMARRANSEE यालयमा नयाघादलरामराम वाली वकालालको या सवालकमलदला दिन वसायकलिसकर 7 নবের্তোবাহাত্রার 4. सं० 1026 (ई० सन् 970) परमार सीयक का दानपत्र समालोसपनेतगामतिरासामा लेता एएगपरलक्षासमक्षालगाया। पहाधिताल सिर पर नरमायाया दामनुमंतर पालनीयशात मुका माला सरावादि समयमा यसायरा मिसभा नसानसायाला टानी हरनाल पुराजीनालिवमाधयक्षमा नभाता वति प्रतिमा जानिकालाममा:एन राहदाना रस्माकुलममुरारमुरादारानानाम मकानागादिनी याल शायरियालन हुररतलायासन यलोरयशःपारपात नामनिवासमाविनापरवानामानायाशाशनरोगरा माया मारपीस पालीकाकालपालनाचानाकाम लाला शिलालयिंगगातागवण्डातनासकालमिसरा नाराये पर करनीयतिलामालाना संत भगरमा सयभाडामुंगलमहाशा रीकामोरवयव REAL रा 5. मं० 1076 (ई० सन् 1019-20) बाँसवाड़ा में प्राप्त ताम्रपत्र मे चामा माता मामाभदादर नाटकायाप्रमा पातपूत्रवादतन झातागतिलो प्रधाननगाव सानाधिनमा आरापमानात 6. महाकुमार हरिश्चन्द्र का भोपाल में प्राप्त ताम्रपत्र वि० सं० 1214 (ई० सन् 1157) के आसपास Jain Education International For Private & Personal Use Only www.jainelibrary.org

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